एशियाड में उतरने को लेकर बेहद खुुश हैं हॉकी खिलाड़ी दीपिका
एशियाड खेलों के लिए चुुने जाने पर हॉकी खिलाड़ी दीपिका बेहद उत्साहित हैं। हरियाणा के हिसार की रहने वाली दीपिका ने 2012 में अपने भाई के साथ कुश्ती अभ्यास के लिए हॉकी स्टिक उठाई थी। वर्षों की कड़ी मेहनत के बाद उन्होंने भारतीय महिला हॉकी के लिए जगह बनाई। वह हांग्जो में 19वें एशियाई खेलों में प्रतिस्पर्धा करेगी।
![IANS News IANS News](https://img.cricketnmore.com/uploads/2020/09/IANS-news-service-image.jpg)
![‘My father has had a few sleepless nights: Deepika opens up about her journey following selection in ‘My father has had a few sleepless nights: Deepika opens up about her journey following selection in](https://img.cricketnmore.com/cdn-cgi/image/width=480,height=270,quality=75,fit=cover,sharpen=1/uploads/default.jpg)
एशियाड खेलों के लिए चुुने जाने पर हॉकी खिलाड़ी दीपिका बेहद उत्साहित हैं। हरियाणा के हिसार की रहने वाली दीपिका ने 2012 में अपने भाई के साथ कुश्ती अभ्यास के लिए हॉकी स्टिक उठाई थी। वर्षों की कड़ी मेहनत के बाद उन्होंने भारतीय महिला हॉकी के लिए जगह बनाई। वह हांग्जो में 19वें एशियाई खेलों में प्रतिस्पर्धा करेगी।
19 वर्षीय खिलाड़ी ने अपने शुरुआती हॉकी दिनों के बारे में कहा, "मेरा परिवार हमेशा मेरे हॉकी करियर का समर्थन करता रहा है। हालांकि जब मैंने पहली बार खेलना शुरू किया था तो मेरे बारे में बहुत कुछ कहा गया था, लेकिन मेरे पिता ने कभी इसे मेरे कानों तक नहीं पहुंचने दिया।"
उन्होंने आगे कहा, "2017 में मेरी पहली सब जूनियर नेशनल चैंपियनशिप के बाद उन्होंने मुझे और भी अधिक प्रेरित करना शुरू कर दिया, मुझ पर उनका विश्वास दिखाई दे रहा था।"
जूनियर भारतीय महिला हॉकी टीम के साथ फॉरवर्ड के रूप में दीपिका की प्रारंभिक उपस्थिति मार्च 2018 में यूथ ओलंपिक क्वालीफायर में थी। तब से उन्होंने दक्षिण अफ्रीका के पोचेफस्ट्रूम में एफआईएच हॉकी महिला जूनियर विश्व कप 2021 में भाग लिया, जहां उनकी टीम चौथे स्थान पर रही। जहां महिला जूनियर एशिया कप टीम के रूप में भारत ने स्वर्ण पदक जीता।
उन्होंने कहा, "हर कोई एक स्थान के लिए प्रतिस्पर्धा कर रहा था, मैंने कभी भी टीम में जगह बनाने की उम्मीद नहीं की थी, और जब मुझे पता चला तो मैं बहुत खुश थी। मैं पहली बार किसी बड़े टूर्नामेंट में जा रही हूं और मैं पहले थोड़ी घबराई हुई हूं। उन्होंने कहा कि एशियाई खेलों की टीम में नामित होने पर वरिष्ठ खिलाड़ियों और मुख्य कोच जेनेक शोपमैन ने मेरा हौसला बनाए रखा।
जब से मेरे पिता को इसके बारे में पता चला तो उनकी कई रातों की नींद हराम हो गई है, मुझे लगता है उन्हें विश्वास नहीं हो रहा था कि यह वास्तव में हो रहा है। आगे कहा, मैंने सोचा नहीं था किमुझे चुना जाएगा, लेकिन मैं जो कुछ भी हासिल कर रही हूं, उस पर उन्हें बेहद गर्व है।"
वह पेनल्टी कॉर्नर के लिए मुख्य कोच जेनेक के पास उपलब्ध तीन ड्रैग फ़्लिकर में से एक है। दीपिका ने महिला जूनियर एशिया कप में छह मैचों में सात गोल किए, जिनमें से चार पेनल्टी कॉर्नर से आए।
जब उनसे पूछा गया कि क्या उन्हें पेनल्टी कॉर्नर लेते समय दबाव महसूस होता है, तो उन्होंने कहा, "फ्लिकिंग से गोल करने का दबाव मुझे महसूस नहीं होता है, सभी खिलाड़ी मुझे अपने कौशल पर ध्यान केंद्रित करने देते हैं और जितना हो सके गोल पर शॉट लगाने के लिए प्रोत्साहित करते हैं।"
उन्होंने कहा,“हम पिछले कुछ दिनों से कैंप में रूपिंदर पाल सिंह के साथ ड्रैग फ्लिकिंग पर काम कर रहे हैं। वह हमें पहले दौड़ने वाले को हराने पर काम करवा रहे है, हमें दिखा रहे है कि गेंद को कहां रोका जा सकता है, और अगर गेंद किनारों पर रुकी है तो उसे कैसे छोड़ा जाए। यह सारी मदद निस्संदेह हांग्जो में 19वें एशियाई खेलों के दौरान मैच स्थितियों में मेरी मदद करेगी।"
Also Read: Live Score
भारतीय महिला हॉकी टीम को 19वें एशियाई खेल हांगझू 2022 के लिए पूल ए में रखा गया है और ग्रुप चरण में उसका सामना कोरिया, मलेशिया, हांगकांग चीन और सिंगापुर से होगा।