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वेस्टइंडीज की हार के हीरो बने शेन वॉर्न

1996 वर्ल्ड कप के दूसरे सेमीफाइनल में ऑस्ट्रेलिया औऱ वेस्टइंडीज की टीम आमनें–सामनें थी। 1983 के बाद पहला मौका था जब वेस्टइंडीज ने सेमीफाइनल तक का सफर

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Shane Warne, 2nd Semi Final Australia V West Indie
Shane Warne, 2nd Semi Final Australia V West Indie ()
Saurabh Sharma
By Saurabh Sharma
Feb 05, 2015 • 06:36 AM

1996 वर्ल्ड कप के दूसरे सेमीफाइनल में ऑस्ट्रेलिया औऱ वेस्टइंडीज की टीम आमनें–सामनें थी। 1983 के बाद पहला मौका था जब वेस्टइंडीज ने सेमीफाइनल तक का सफर तय किया था। लेकिन वेस्टइंडीज के लिए सेमीफाइनल मैच बैहद ही निराशा के साथ खत्म हुआ। मैच के अंतिम 50 मिनट में वेस्टइंडीज टीम के बल्लेबाजों का अनियंत्रित ढ़ंग से पतन ने  ऑस्ट्रेलिया के लिए रोमांचक मैच में जीत स्क्रिप्ट तैयार की थी।

Saurabh Sharma
By Saurabh Sharma
February 05, 2015 • 06:36 AM

 वेस्टइंडीज के टॉप क्लास गेंदबाज कर्टली एम्ब्रोस औऱ इयान बिशप ने ऑस्ट्रेलिया के टॉप 4 बल्लेबाजों को 15 रनों के अंदर पवेलियन  भेजकर ऑस्ट्रेलिया के लिए बड़ी मुश्किल खड़ी कर दी थी। जिसके बाद माइकल बेवन और स्टुअर्ट लॉ ने अर्धशतकीय पारी खेलकर टीम के विकटों के पतन पर अंकुश लगाया।  171 रन के स्कोर पर ऑस्ट्रेलिया के माइकल वेवन सहित स्टुअर्ट लॉ आउट होकर पवेलियन लौट चुके थे। ऑस्ट्रेलिया के पुछल्ले बल्लेबाज फेल रहे लेकिन इयान हीली ने 31 रन की पारी खेली और ऑस्ट्रेलिया ने 50 ओवर में 8 विकेट के नुकसान पर 207 रन का स्कोर बनाया। 

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वेस्टइंडीज ने जब अपनी पारी की शुरूआत की तो कर्टनी ब्राउन के जल्द आउट होने के बाद चंद्रपॉल औऱ लारा पारी को संभाला। 45 रन बनाकर लारा स्टीव वॉ का शिकार बने, तब तक वेस्टइंडीज की टीम 93 रन बना चुकी थी। 
लारा के आउट होने के बाद रिची रिचर्ड्सन ने चंद्रपॉल के साथ वेस्टइंडीज टीम को जीत के दहलीज पर आहिस्ता- आहिस्ता ले जाने लगे। ग्लेन मैकग्रा ने चंद्रपॉल (80 रन) के जुझारू पारी का अंत करके ऑस्ट्रेलिया के लिए जीत की आस को हवा दी। 3 विकेट 165 रन के स्कोर से वेस्टइंडीज की टीम मैच में जीत को लेकर पूरी तरह से आश्वस्त थी क्योंकि एक तरफ रिची रिचर्ड्सन शानदार बल्लेबाजी कर रहे थे।

मैच के इस पड़ाव पर जहां वेस्टइंडीज की टीम जीत से केवल 42 रन दूर थी। चंद्रपॉल के आउट होने के बाद वेस्टइंडीज के स्कोर में सिर्फ 8 रनों का ही ईजाफा हुआ था कि मैकग्रा ने हार्पर को आउट कर मैच में ऑस्ट्रेलिया को पूरी तरह से वापस ला दिया था ।

ऐसे में ऑस्ट्रेलियन कप्तान मार्क टेलर ने बिना समय गंवाए अपने बेहतरीन स्पिन अटैक शेन वॉर्न को गेंदबाजी पर लाकर वेस्टइंडीज के लिए आगे के सफर में काटों की राह तैयार कर दी।सही मायने में वॉर्न ने अपनी करिश्माई घुमती गेंद से गिब्सन औऱ जिमी एडम्स को आउट कर वेस्टइंडीज की जीत के बीच सबसे बड़े विलेन बनकर खडे हो गए।

ग्लेन मैकग्रा ने पहले तो वेस्टइंडीज के हार में अपनी गेंदबाजी से विकेट लेने की शुरूआत की पर उसे अंजाम तक वॉर्न औऱ डेमियन फ्लेमिंग ने पहुंचाया। अंतिम ओवर करने के लिए मार्क टेलर ने बॉल डेमियन फ्लेमिंग को थमाई, सामने रिची रिचर्ड्सन वेस्टइंडीज के जीत के एक मात्र उम्मीद थे। पहली गेंद पर चौका जड़कर रिचर्डसन ने वेस्टइंडीज खेमें में उम्मीद की लहर दौड़ा दी। अंतिम 5 गेंद पर वेस्टइंडीज को जीत के लिए 6 रनो की दरकार के साथ 2 विकेट हाथ में थी। मैच वेस्टइंडीज के पाले में गिरता दिख रहा था, ऐसे में अनिश्चिताओं के खेल ने एक बार फिर अपनी फितरत दिखाई औऱ रन लेने की एक गलत फहमी ने वेस्टइंडीज का सारा खेल बिगाड़ के रख दिया और एम्ब्रोज रन आउट होकर पवेलियन पहुंचे।

उस एक गलतफहमी ने वेस्टइंडीज का बेड़ा गर्क कर दिया। अगले ही गेंद पर फ्लेमिंग ने वॉल्श की गिल्लियां बिखेरकर ऑस्ट्रेलिया को वर्ल्ड कप फाइनल का टिकट दिला दिया जहां श्रीलंका उसका इंतजार कर रही थी।
अपनी घातक स्पिन स्पिन से वेस्टइंडीज को हराने में अहम भुमिका निभाने  शेन वॉर्न को मैन ऑफ द टूर्नामेंट का खिताब मिला। 

“वॉर्न उस मैच को याद करते हुए कहते हैं कि मॉर्क टेलर ने अंतिम 10 ओवरों में कप्तान के तौर पर जो रणनीति चली वो बेहद ही शानदार थी, हमने अंतिम 10 ओवरों में मैच का पूरा पासा पलट कर रख दिया। अंतिम क्षणों में क्रिकेट अपने चरम पर था,उस मैच की याद शानदार है।“  

 

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