Cricket Tales: क्रिकेटर्स और उनके संघर्ष से जुड़ी आपने तमाम कहानियां सुनी होंगी। लेकिन, आज इस आर्टिकल के माध्यम से हम आपको जो कहानी बताएंगे वो आपनी रूह को झकझोड़ कर रखे देगी। ये कहानी है अनाथालय से ऑस्ट्रेलिया टीम के कैप्टन बनने तक की यात्रा! ये कहानी है ऑस्ट्रेलिया के लिए 4 विश्व कप खिताब जीतने में अहम किरदार निभाने वालीं महिला क्रिकेटर लिसा स्टालेकर (Lisa Sthalekar) की।
लड़की को एक अनाथालय में छोड़ दिया, लेकिन नियति उसे पहले अमेरिका ले गई और फिर ऑस्ट्रेलियाई क्रिकेट टीम का कप्तान बनवाया। तीन सप्ताह की उम्र में भारत में अनाथालय की सीढ़ियों पर छोड़े जाने के बाद इस खिलाड़ी ने अपनी लाइफ में जो कुछ भी हासिल किया उसकी कल्पना करना भी रोंगटे खड़े कर देता है। 13 अगस्त 1979 को शहर के एक अनजान कोने में एक लड़की का जन्म हुआ लेकिन, माता-पिता के लिए ये लड़की एक मजबूरी और बोझ थी।
महाराष्ट्र के पुणे शहर में एक अनाथालय है, जिसे 'श्रीवास्तव अनाथालय' कहा जाता है। सुबह-सुबह इस अनाथालय के पालने में किसी ने लिसा स्टालेकर को छोड़ दिया था। प्रबंधक अनाथालय ने उस अनाथ प्यारी बच्ची का नाम 'लैला' रखा। हरेन और सू नाम का एक अमेरिकी जोड़ा भारत घूमने आया था लेकिन उनका मकसद लड़के को गोद लेना था लड़की को नहीं।

