सुनील गावस्कर टॉस की भूमिका को लेकर उठाए सवाल,कहा- ICC को सुनिश्चित करना चाहिए है कि एक समान खेल का मैदान हो
दिग्गज क्रिकेटर सुनील गावस्कर (Sunil Gavaskar) ने कहा है कि यूएई में आईसीसी टी-20 वर्ल्ड कप में लक्ष्य का पीछा करने वाली टीमों को ज्यादा फायदा मिला। उस पर आईसीसी को गौर करना चाहिए। टी-20 वर्ल्ड कप का 2021 संस्करण
दिग्गज क्रिकेटर सुनील गावस्कर (Sunil Gavaskar) ने कहा है कि यूएई में आईसीसी टी-20 वर्ल्ड कप में लक्ष्य का पीछा करने वाली टीमों को ज्यादा फायदा मिला। उस पर आईसीसी को गौर करना चाहिए। टी-20 वर्ल्ड कप का 2021 संस्करण रविवार को संपन्न हुआ, जिसमें ऑस्ट्रेलिया ने न्यूजीलैंड को दुबई में आठ विकेट से हराया।
वर्ल्ड कप में एक ऐसा मुद्दा देखने को मिला है, जिसने कई लोगों को हैरान कर दिया है, वह यह है कि टूर्नामेंट में खेले गए 45 मैचों में से 29 में लक्ष्य का पीछा करने वाली टीम विजयी हुई है। सेमीफाइनल और फाइनल दोनों पक्षों ने दूसरे नंबर पर बल्लेबाजी करते हुए जीते।
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दरअसल टी-20 वर्ल्ड कप में 'टॉस बना बॉस' एक बड़ा मुद्दा बना रहा और खेल समीक्षक के अलावा प्रशंसक भी इस बात पर जोर देते दिखे कि जो टीम टॉस जीतेगी, वह निश्चित तौर पर पहले फील्डिंग चुनेगी, क्योंकि बाद में ओस गिरने से बॉलिंग करना मुश्किल हो रहा था। सुपर-12 राउंड में भी अधिकतर मैचों में देखने को मिला कि जो टीम टॉस की बॉस बनी, उसकी जीत तय हुई।
इस पर गावस्कर ने कहा कि यह आईसीसी के लिए एक समान खेल मैदान सुनिश्चित करने के लिए एक मुद्दा है।
गावस्कर ने कहा, "कमेंट्री करने वाले कह रहे थे कि ओस का कोई खास प्रभाव नहीं है, लेकिन मुझे ऐसा नहीं लगता, क्योंकि पिछले गेम में भी ऐसा हुआ था और इस बारे में कुछ करने की जरूरत है। लेकिन आप कह सकते हैं जब ग्रुप उसी समय पर खेले गए थे तो नॉकआउट मैचों का टाइम बदलने का क्या मतलब है।"
गावस्कर का कहना है कि यह आईसीसी क्रिकेट कमेटी के लिए एक मुद्दा रहेगा, जिसके उन्हें ठीक करना होगा ताकि मैदान में उतरने वाली दोनों टीमों के लिए खेल बराबरी का रहे।
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स्पोर्ट्स टुडे ने गावस्कर के हवाले से कहा, "मुझे लगता है कि आईसीसी क्रिकेट समिति के लिए यह सुनिश्चित करने के लिए कुछ है कि दोनों टीमों के लिए एक समान खेल का मैदान हो।"