विराट कोहली के लिए साल का यह दिन होता है सबसे दुख देना वाला दिन, इस दिन कोहली का दिल रोता है
20 दिसंबर, 2017, नई दिल्ली (CRICKETNMORE)। 19 दिसंबर 2006 की बात है, उस दौरान रणजी मैच में विराट कोहली दिल्ली के लिए खेला करते थे। रणजी ट्रॉफी के ग्रुप “ए” के एक मैच में फिरोजशाह कोटला मैदान पर कर्नाटक और
टीम मैट को लगा कि कोहली को अब अपने घर जाना चाहिए लेकिन अगली सुबह कोहली ने अपना फर्ज टीम के लिए पहले समझा और उन्होंने मैदान पर जाकर दिल्ली की टीम की पारी को आगे बढ़ाया। उस मुश्किल भरे वक्त में कोहली ने ना सिर्फ मैदान पर रूक कर बेमिसाल पारी खेली बल्कि दिल्ली की टीम को फॉलोऑन से बचाने के लिए बिल्कुल करीब लाकर खड़ा कर दिया था। उस मैच में कोहली ने जिस परिस्थिती में बल्लेबाजी करी थी वो असमान्य था।
कोहली ने उस ऐतिहासिक मैच में 281 मिनट और 238 गेंद का सामना करते हुए 90 रन की पारी खेली थी। जिस वक्त कोहली आउट हुए उस समय तक दिल्ली को फॉलोओन बचाने के लिए सिर्फ 36 रनों की जरूरत थी। कोहली के इस बेहद ही महत्वपूर्ण पारी के कारण दिल्ली की टीम मैच बचानें में सफल रही थी। 90 रन की बेहतरीन पारी खेलने के बाद कोहली तुरंत अपने पिता की अंत्येष्टि में चले गए।
"उस मैच में दिल्ली के कप्तान रहे मिथुन मन्हास ने उस वक्त के बारे में एक बयान में कहा था कि हमारी टीम ने कोहली को उस मुश्किल भरे वक्त में कहा कि तुम्हें घर जाना चाहिए, लेकिन कोहली ने खेलने का फैसला किया था। उस मैच में कोहली जिस तरह से बल्लेबाजी कर रहे थे उससे मुझे एहसास हो गया था कि कोहली कोई समान्य खिलाड़ी नहीं है।"
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