साउथ अफ्रीका के खिलाफ ब्रायन लारा की धमाकेदार वापसी

Updated: Wed, Jan 28 2015 02:57 IST

2003 वर्ल्ड कप साउथ अफ्रीका,जिम्बाब्वे और केन्या के सरजमीं पर खेला गया। बेहद ही शानदार उद्घाटन समारोह के बाद 9 फरवरी 2003 को साउथ अफ्रीका के केपटाउन पर वर्ल्ड कप का पहला मैच वेस्टइंडीज और साउथ अफ्रीका के बीच खेला गया। पहले मैच में लगभग 24,200 दर्शकों के बीच इस मैच को लेकर खासा उत्साह था। वेस्टइंडीज के लिए मैच बड़ा ही महत्वपूर्ण इसलिए था क्योंकि महान बल्लेबाज ब्रायन लारा चोट से ग्रस्त होने कारण लगभग 5 महीने के अंतराल के बाद इंटरनेशनल क्रिकेट में वापसी कर पहला मैच खेल रहे थे। यह मैच इसलिए भी खास था क्योंकि 2003 वर्ल्ड कप में इन दोनों टीमों के अलावा जो 12 टीमें हिस्सा ले रहीं थी वह इस मैच को देखने के लिए स्टेडियम में मौजूद थी।  

वेस्टइंडीज के कप्तान कार्ल हूपर ने टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करने का निर्णय लिया। कप्तान कार्ल हूपर का यह फैसला वेस्टइंडीज टीम पर तब भारी पड़ गया औऱ साउथ अफ्रीका के गेंदबाज शॉन पोलक ने विस्फोटक बल्लेबाज क्रिस गेल (2 रन) और वावेल हिंड्स (0) को आउट कर वेस्टइंडीज को संकट में डाल दिया। ब्रायन लारा नंबर 3 पर बल्लेबाजी करने आए तो वेस्टइंडीज की टीम का स्कोर 5 ओवर्स में 1 विकेट के नुकसान पर 4 रन था। इसके साथ ही पोलक ने 7 रन पर दूसरी विकेट लेकर ब्रायन लारा के ऊपर बड़ी जिम्मेदारी ला दी। लगभग 5 महीने तक इंटरनेश्नल क्रिकेट से दूर रहने के बाद ब्रायन लारा के सामने साउथ अफ्रीका के वर्ल्ड क्लास गेंदबाजी अटैक के सामने बल्लेबाजी करना बड़ी चुनौती थी। 7 ओवर में 2 विकेट पर वेस्टइंडीज का स्कोर 7 रन था। ब्रायन लारा औऱ शिवनारायण चंद्रपॉल के कंधे पर वेस्टइंडीज को संकट से निकालने की जिम्मेदारी थी। 

लारा और चंद्रपॉल ने संभलकर पारी को आगे बढ़ाते हुए टीम का स्कोर 100 रनों के पार ले गए। चंदपॉल 34 रन के निजी स्कोर पर क्लूजनर का शिकार बने। लगभग 102 रनों की महत्वपूर्ण पार्टनरशिप करते हुए दोनों ने वेस्टइंडीज का स्कोर 3 विकेट पर 109 रन पर पहुंचाया पर चंद्रपॉल के अचानक आउट होने से एक बार फिर वेस्टइंडीज की टीम की पारी ढ़लान पर नजर आने लगी थी । इस दौरान ब्रायन लारा ने क्लूजनर की गेंद पर चौका जड़कर अपना अर्धशतक पूरा किया। चंद्रपॉल के आउट होने के बाद कप्तान हूपर ने लारा के साथ कंधे से कंधे मिलाते हुए वेस्टइंडीज के लिए पार्टनरशिप की और टीम की पारी को आगे बढ़ाया। 

ब्रायन लारा ने बेहद ही शानदार बल्लेबाजी करते हुए वहां मौजूद सभी दर्शोकों का दिल जीत लिया । लारा ने अपने पहले 50 रन पूरे करने के लिए 78 गेंदों का सहारा लिया वहीं उन्होंने अगले 50 रन केवल 43 गेंद में ही पूरे कर लिए।  अपने शतक के दौरान लारा ने कई बेहतरीन स्ट्रोक खेलकर अपने बल्लेबाजी से सबका मन मोह लिया था । अपने ट्रेड मार्क शॉट ड्रायव के साथ- साथ बेहद ही दार्शनिक कट शॉट खेलकर लारा ने विपक्षी टीम के गेंदबाजों के हौसले को पस्त कर दिया। मखाया एंटिनी ने ब्रायन लारा के बेहतरीन पारी का अंत किया। लेकिन आउट होने से पहले लारा अपना काम कर चुके थे, वह 134 गेंद पर 116 रन की बेहद ही स्टाइलिश पारी खेलते हुए टीम का स्कोर 215 रन पर ले गए थे । लारा के शानदार प्रयास के बाद अंतिम क्षणों में रिकार्डो पॉवेल  ने 18 गेंद पर 40 रन और साथ ही रामनरेश सरवन ने 15 गेंद पर 32 रन बनाकर वेस्टइंडीज की टीम का स्कोर 5 विकेट पर 278 रन तक पहुंचा दिया। अंतिम पांच ओवरों में दोनों बल्लेबाजों ने धमाकेदार बल्लेबाजी करते हुए लगभग 65 रन जोड़े। साउथ अफ्रीका के गेंदबाज शॉन पोलक ने 2 खिलाड़ियों को आउट किया। 

पारी की शुरूआत करने से पहले ही साउथ अफ्रीका को झटका लग गया,स्लो ओवर रेट के कारण अंपायरों ने साउथ अफ्रीका की पारी का 1 ओवर कम कर दिया जिसके बाद उसके सामनें 49 ओवर में 279 रन का लक्ष्य था। अफ्रीका के लिए सलामी बल्लेबाज गैरी कर्स्टन और हर्शल गिब्स ने मिलकर पहले विकेट के लिए 46 रन जोड़े । गिब्स के आउट होते ही साउथ अफ्रीका के बल्लेबाज थोड़े – थोड़े अंतराल में एक – दूसरे के बाद पवेलियन का रूख करने लगे। 32 ओवर तक अफ्रीका का स्कोर 5 विकेट पर 155 रन था और वेस्टइंडीज के लिए जीत की उम्मीद बंधने लगी। 41 ओवर तक 204 रन के योग तक साउथ अफ्रीका के 7 बल्लेबाज पवेलियन का रूख कर चुके थे।

लेकिन 1999 वर्ल्ड कप के हीरो रहे लांस क्लूजनर ने एक बार फिर संकट मोचन बनते हुए साउथ अफ्रीका को जीत के बेहद करीब पहुंचा दिया। अंतिम ओवर में साउथ अफ्रीका को जीत के लिए केवल 9 रन की जरूरत थी । वेस्टइंडीज के कप्तान कॉर्ल हूपर ने अंतिम ओवर करने के लिए वॉबेर्ट ड्रैक्स को गेंद थमाई। जिस अंदाज में क्लूजनर बल्लेबाजी कर रहे थे ऐसा लग रहा था कि मैच वेस्टइंडीज के पाले से बाहर निकलता जा रहा है। कप्तान के निर्णय को सही साबित करनी की जिम्मेदारी वॉबेर्ट ड्रैक्स पर थी। 49वें ओवर के दूसरी गेंद पर वॉबेर्ट ड्रैक्स की फुलटॉस गेंद पर क्लूजनर ने स्क्वायर  लेग पर हवा में स्ट्रोक खेला जिसे कप्तान कार्ल हूपर ने लपक लिया औऱ अफ्रीकी टीम को अंतिम समय में जोरदार झटका दिया। क्लूजनर के आउट होते ही मैच वेस्टइंडीज के पाले में गिर गया। वॉबेर्ट ड्रैक्स ने क्लूजनर और मखाया एंटिनी को आउट कर मैच वेस्टइंडीज को जीता दिया। 49 ओवर में साउथ अफ्रीका की टीम 275 रन ही बना पाई जिससे वेस्टइंडीज को वर्ल्ड कप 2003 के पहले मैच में 3 रन से बेहद ही शानदार जीत मिली। लांस क्लूजनर ने 48 गेंद पर 57 रन बनाएं जिसमें 5 छक्का और 1 चौका शामिल था। 

ब्रायन लारा को उनके शानदार शतक के लिए मैन ऑफ द मैच से नवाजा गया।

“मैच के बाद ब्रायन लारा ने कहा कि “टीम में वापसी करने के लिए पिछले पांच महीनों से कड़ी मेहनत कर रहा था। मैनें अपने आप को हमेशा पॉजिटीव रखते हुए खुद को टैलेंटेड और युवा टीम के साथ अपनी जगह को सही साबित करने के लिए पूरी मेहनत करी। पहले मैच में शतक लगाना बहुत ही उपयोगी साबित होगा। वेस्टइंडीज के युवा ब्रिगेड के साथ – कंधे से कंधा मिलाकर टीम के लिए बेहतरीन परफॉर्मेंस करना अब मेरी पहली प्राथमिकता है।“ 

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