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मजदूरी कर यह खिलाड़ी दिन के कमा रहा है 250 रुपये, भारत के लिए जीत चुका है वर्ल्ड कप

क्रिकेट एक ऐसा खेल है जिसने कई लोगों को अपनी पहचान दिलाई है और इसको देखने वालों को ना सिर्फ इस खेल बल्कि खिलाड़ियों से भी उतनी ही लगाव होता है। हालांकि कई ऐसी कहानी भी है जब क्रिकेटरों ने

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World Cup 2018 winning blind cricketer works as a labourer in Gujarat
World Cup 2018 winning blind cricketer works as a labourer in Gujarat (Image Source: Google)
Shubham Shah
By Shubham Shah
Aug 10, 2021 • 05:19 PM

क्रिकेट एक ऐसा खेल है जिसने कई लोगों को अपनी पहचान दिलाई है और इसको देखने वालों को ना सिर्फ इस खेल बल्कि खिलाड़ियों से भी उतनी ही लगाव होता है।

Shubham Shah
By Shubham Shah
August 10, 2021 • 05:19 PM

हालांकि कई ऐसी कहानी भी है जब क्रिकेटरों ने अच्छा प्रदर्शन किया लेकिन इसके बावजूद उन्हें बोर्ड और अन्य लोगों ने उतनी सराहन और इज्जत नहीं थी जितनी की उन्हें मिलनी चाहिए थी।

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आज हम एक ऐसे ही क्रिकेटर के बारे में बात करेंगे जो अपने जीवन के सबसे संघर्ष वाले दिनों से गुजर रहा है। इस खिलाड़ी का नाम नरेश तुमडा है और ये साल 2018 में उस टीम का हिस्सा थे जब भारत की Blind Cricket Team ने पाकिस्तान को वर्ल्ड कप फाइनल में 8 विकेट से हराया था।

गुजरात के रहने वाले नरेश जब 5 साल के थे तब से उन्होंने क्रिकेट खेलना शुरू किया। साल 2014 में अच्छा प्रदर्शन करने के बाद उन्होंने भारतीय टीम में अपनी जगह बनाई।

हालांकि वर्ल्ड कप जीत में शामिल होने के बाद भी उन्हें वो पहचान नहीं मिली और वो कोविड महामारी में सब्जी बेचने के साथ-साथ मजदूरी का काम भी करते हैं। नरेश बताते है कि उन्हें दिन के 250 रुपये मिलते हैं।

नरेश ने कहा कि उन्हें कई बार राज्य सरकार से नौकरी की गुहार लगाई है लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई। उन्होंने कहा कि वर्ल्ड कप जीतने के बाद यहां तक उन्होंने भारत के राष्ट्रपति तक से मुलाकात की और उन्हें लगा कि उनकी किस्मत बदलेगी लेकिन ऐसा नहीं हुआ।

आगे उन्होंने अपना दुख जताते हुए कहा कि उनके पिता काफी बूढ़े हैं और वो काम नहीं कर सकते। वो अकेले ही पूरे परिवार का खर्च चलाते हैं।

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