ग्लेन मैक्ग्रा ने कहा,भारत अब भी ऑस्ट्रेलिया के लिए सबसे बड़ी चुनौती
ऑस्ट्रेलिया के महान तेज गेंदबाज ग्लेन मैक्ग्रा (Glenn McGrath) को लगता है कि अगले साल भारत में होने वाली टेस्ट सीरीज खेलना पैट कमिंस की टीम के लिए काफी बड़ी चुनौती होगी। मैक्ग्रा ने पाकिस्तान और श्रीलंका की टेस्ट दौरों के लिए ऑस्ट्रेलिया के हालिया प्रदर्शन की भी सराहना करते हुए कहा कि टीम उपमहाद्वीप की स्थितियों को समझने लगी है।
ऑस्ट्रेलिया फरवरी-मार्च 2023 में बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी के हिस्से के रूप में भारत का दौरा करेगा, जिसका उद्देश्य उस देश में सीरीज जीतना है, जहां उन्होंने अक्टूबर-नवंबर 2004 में 2-1 की जीत के बाद कभी जीत हासिल नहीं की है।
टीम ने मार्च में पाकिस्तान में तीन मैचों की टेस्ट सीरीज 1-0 से जीती थी और जुलाई में श्रीलंका में दो मैचों की टेस्ट सीरीज में 1-1 से ड्रॉ कराया था।
मैक्ग्रा ने क्रिकेट डॉट कॉम के हवाले से कहा, "निश्चित रूप से ऑस्ट्रेलिया के लिए सबसे बड़ी चुनौती भारत में आना, अच्छा प्रदर्शन करना और सीरीज जीतना है। हम 2004 में ऐसा करने के लिए भाग्यशाली थे। भारत में जीतने के लिए आपको अच्छी योजनाएं बनानी होंगी। ऑस्ट्रेलिया के बल्लेबाजों को टनिर्ंग पिचों के अनुकूल होना सीखना होगा। साथ ही गेंदबाजों को उन परिस्थितियों में गेंदबाजी करना सीखना होगा।"
उन्होंने आगे कहा, "मुझे लगता है कि आईपीएल के साथ, बहुत सारे खिलाड़ी नियमित रूप से यहां भारत में रहे हैं और इसलिए उन्हें परिस्थितियों का अनुभव भी है।"
मौजूदा ऑस्ट्रेलियाई टीम, श्रीलंका और पाकिस्तान में अपने प्रदर्शन से यह समझने लगी है कि कैसे उपमहाद्वीप के विकेटों पर खेलना है। भारत अभी भी अंतिम चुनौती है। मुझे लगता है कि वे इसके लिए तैयार हैं।
मैक्ग्रा ऐसे व्यक्ति हैं जिन्हें भारतीय परिस्थितियों में गेंदबाजी में बड़ी सफलता मिली है। भारत में अपने आठ टेस्ट मैचों में, उन्होंने 21.3 के औसत से 33 विकेट चटकाए, जिनमें से 14 विकेट 2004-05 की सीरीज में आए थे। भारतीय परिस्थितियों में सफल होने के लिए विदेशी गेंदबाजों के लिए आवश्यक चीजों के बारे में पूछे जाने पर मैक्ग्रा ने गेंद के साथ नियंत्रण और लंबाई के अनुकूल होने की क्षमता पर जोर देने को कहा।
उन्होंने कहा, "आपको बस एक योजना बनाने की जरूरत है। ऑस्ट्रेलिया में पिचें तेज और उछाल वाली होती हैं ताकि आप उन अच्छे क्षेत्रों में गेंदबाजी कर सकें। लेकिन भारत की पिचें थोड़ी अलग है, जिस पर बिना योजना के गेंदबाजी करना आसान नहीं है।"