IND VS AUS: 3 खिलाड़ी जिन्हें शायद ही मिले प्लेइंग 11 में मौका, कर सकते हैं बेंच गर्म
भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच 4 मैचों की Border Gavaskar Trophy टेस्ट सीरीज की शुरुआत 9 फरवरी से हो रही है। ये 3 खिलाड़ी ऐसे हैं जिन्हें शायद ही प्लेइंग इलेवन में मौका मिले।
IND vs AUS: भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच Border Gavaskar Trophy की शुरुआत 9 फरवरी से होगी। टीम इंडिया के लिए ये सीरीज काफी महत्वपूर्ण हैं। टीम इंडिया को WTC के फाइनल में पहुंचने के लिए हर हाल में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ जीत दर्ज करना अनिवार्य हैं। हालांकि, ऑस्ट्रेलियाई टीम भी इस बार पूरी तैयारी के साथ भारत के दौरे पर आ रही है। इस आर्टिकल में शामिल हैं उन 3 क्रिकेटर्स का नाम जिन्हें शायद ही टीम इंडिया की प्लेइंग इलेवन में जगह मिले।
कुलदीप यादव: बांए हाथ के स्पिनर कुलदीप यादव को प्लेइंग इलेवन में जगह मिल पाना तकरीबन नामुमकिन लग रहा है। कुलदीप यादव की बल्लेबाजी उनकी कमजोर कड़ी है। टीम में जडेजा, अश्विन और अक्षर पटेल के होने के चलते कुलदीप यादव का बॉर्डर गावस्कर सीरीज में एक भी मैच खेल पाना तकरीबन नामुमकिन है।
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ईशान किशन: विकेटकीपर बल्लेबाज ईशान किशन को ऋषभ पंत की जगह टीम इंडिया के टेस्ट स्कॉवड में शामिल किया गया है। केएस भरत लंबे टाइम से टीम इंडिया की टेस्ट टीम से जुड़े हुए हैं। ऐसे में पंत की गैरमौजूदगी में पहले प्लेइंग इलेवन में मौका उन्हें ही मिलेगा टीम इंडिया के कप्तान रोहित शर्मा ने इस बात के संकेत दे भी दिए हैं।
जयदेव उनादकट: मोहम्मद सिराज और मोहम्मद शमी के टीम में होने के चलते जयदेव उनादकट का भी प्लेइंग इलेवन में जगह बना पाने की संभावना काफी कम है। भारतीय पिचों पर जहां स्पिनर्स को मदद मिलती है टीम इंडिया केवल 2 तेज गेंदबाजों के साथ मैदान में उतर सकती है। ऐसे में जयदेव का टॉप-2 गेंदबाजों में शामिल होना थोड़ा मुश्किल टास्क है।
Australia leaving no stone unturned for India Tour!#INDvAUS #Australia #Sydney #India pic.twitter.com/RtMUZkEXUZ
— CRICKETNMORE (@cricketnmore) January 29, 2023
बता दें कि साल 2004 के बाद से ऑस्ट्रेलिया ने भारत में कभी भी टेस्ट सीरीज नहीं जीती है। वहीं अगर बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी के इतिहास की बात करें तो इसमें भी पलड़ा टीम इंडिया का भारी है। अब तक दोनों देशों के बीच कुल मिलाकर 15 बार ये ट्रॉफी खेली गई है जिसमें 9 बार भारत ने सीरीज जीती है वहीं 5 बार कंगारूओं ने सीरीज जीतने में कामयापी पाई है।