कमेंट्री बॉक्स में पहुंचे सरफराज के पापा, बोले- 'सूरज मेरी मर्जी से नहीं निकलता'
घरेलू क्रिकेट में लगातार शानदार प्रदर्शन के बाद मिडल ऑर्डर बल्लेबाज सरफराज खान (Sarfaraz Khan Debut) ने आखिरकार गुरुवार (15 फरवरी) को भारत के लिए इंटरनेशनल डेब्यू कर लिया। 26 साल के सरफराज को इंग्लैंड के खिलाफ राजकोट में खेले जा रहे तीसरे टेस्ट से पहले दिग्गज गेंदबाज अनिल कुंबले ने टेस्ट कैप सौंपी।
अपने बेटे को भारत के लिए टेस्ट डेब्यू का मौका मिलने पर सरफराज खान के पिता नौशाद खान भावुक हो गए। नौशाद खान ने न केवल खुशी के आंसू बहाए बल्कि राजकोट टेस्ट के पहले दिन कमेंट्री बॉक्स में पूर्व भारतीय क्रिकेटर आकाश चोपड़ा के साथ स्क्रीन स्पेस भी साझा किया। कमेंट्री बॉक्स में आकाश चोपड़ा ने नौशाद खान से पूछा कि क्या उन्हें लगता है कि उनके बेटे को पदार्पण के लिए बहुत लंबा इंतजार करना पड़ा।
इसके जवाब में नौशाद ने शायराना और गहरा जवाब देते हुए कहा, 'रात गुजरने के लिए वक्त चाहिए, सूरज मेरी मर्जी से नहीं निकलने वाला।' सरफराज के पापा की ये शायरी फैंस को खूब पसंद आ रही है जबकि दूसरी ओर कुछ ट्रोलर्स कमेंट्री बॉक्स में नौशाद खान को देखकर नाखुश हैं और वो बीसीसीआई के इस फैसले पर नाराजगी जता रहे हैं।
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सरफराज खान, जो लगभग 70 के प्रभावशाली प्रथम श्रेणी औसत से रन बना रहे हैं, को भारतीय टीम के लिए टेस्ट डेब्यू का बेसब्री से इंतजार था। उनका चयन कई उल्लेखनीय प्रदर्शनों के बाद हुआ, जिसमें अहमदाबाद में इंग्लैंड लायंस के खिलाफ श्रृंखला में भारत 'ए' के लिए रन बनाना भी शामिल था। उन्होंने श्रेयस अय्यर की जगह साथी नवोदित ध्रुव जुरेल के साथ प्लेइंग इलेवन में जगह बनाई, जिन्होंने केएस भरत की जगह ली।