पाकिस्तानी प्लेयर्स के लिए बंद हुए The Hundred के दरवाज़े, 50 में से कोई नहीं हुआ सेलेक्ट

द हंड्रेड 2025 सीज़न का ड्राफ्ट बुधवार को हुआ, लेकिन पाकिस्तान के खिलाड़ियों के लिए यह दिन किसी बड़े झटके से कम नहीं रहा। इस बार 50 पाकिस्तानी खिलाड़ियों ने ड्राफ्ट में हिस्सा लिया था, मगर एक भी नाम किसी टीम की लिस्ट में शामिल नहीं हुआ। जी हां, इमाद वसीम, हसन अली, नसीम शाह, मोहम्मद आमिर जैसे बड़े नामों को भी किसी टीम ने नहीं चुना। इतना ही नहीं, महिला खिलाड़ियों के ड्राफ्ट में भी पाकिस्तान की पांच महिला क्रिकेटर—अलिया रियाज़, फातिमा सना, युसरा आमिर, इरम जावेद और जवेरिया रऊफ—को कोई खरीदार नहीं मिला।
जहां एक ओर पाकिस्तान के सितारे बाहर रहे, वहीं अफगानिस्तान के स्पिनर नूर अहमद और न्यूज़ीलैंड के ऑलराउंडर माइकल ब्रैसवेल को शानदार ऑफर मिले। नूर अहमद अब मैनचेस्टर ओरिजिनल्स की टीम का हिस्सा होंगे, वहीं ब्रैसवेल को साउदर्न ब्रेव ने चुन लिया। ऑस्ट्रेलिया के पूर्व ओपनर डेविड वॉर्नर को लंदन स्पिरिट ने अपनी टीम में शामिल कर सबको चौंका दिया।
पाकिस्तानी खिलाड़ियों की अनदेखी पर एक बार फिर फ्रेंचाइज़ी ओनरशिप को लेकर बहस छिड़ गई है। दरअसल, इस बार द हंड्रेड की आठ में से चार टीमों में भारतीय मालिकों ने बड़े इन्वेस्टमेंट किए हैं। मुंबई इंडियंस, लखनऊ सुपर जायंट्स के संजीव गोयनका, सनराइजर्स हैदराबाद की ओनर कंपनी सन ग्रुप और आईटी कारोबारी संजय गोविल ने अलग-अलग टीमों में हिस्सेदारी ली है।
SA20 लीग में पहले ही सभी टीमें IPL फ्रेंचाइज़ी की मालिकियत में हैं और वहां भी पाकिस्तानी खिलाड़ियों को मौका नहीं मिलता। यही सिलसिला अब इंग्लैंड में भी दिखाई देने लगा है।
हालांकि, कई जानकार मानते हैं कि केवल भारतीय मालिक ही इसकी वजह नहीं हैं। पाकिस्तान टीम का इंटरनेशनल शेड्यूल भी एक बड़ा फैक्टर है। जुलाई से अगस्त के बीच पाकिस्तान को वेस्ट इंडीज और अफगानिस्तान के खिलाफ सीरीज़ खेलनी है। वहीं, PCB के NOC (अनापत्ति प्रमाण पत्र) को लेकर भी असमंजस रहता है।