टीम इंडिया के गेंदबाज उमेश यादव को मिली भारतीय रिजर्व बैंक में नौकरी, पिता का सपना किया पूरा
17 जुलाई,नई दिल्ली (CRICKETNMORE)। दस साल पहले तिलक यादव चाहते थे कि उनका सबसे जवान बेट उमेश यादव को सरकार नौकरी करते हुए देखना चाहते थे। इसके लिए उमेश ने पुलिस में कॉन्स्टेबल की पोस्ट के एग्जाम भी दिए थे। दुर्भाग्यवश वह एग्जाम पास नहीं कर पाए। लेकिन अब एक दशक बाद दुनिया के सबसे तेज और खतरनाक गेंदबाजों में शुमार उमेश यादव को उससे कई गुना बेहतर सरकारी नौकरी मिल गई है।
उमेश यादव अब भारतीय रिजर्व बैंक में नौकरी मिल गई है। वह आरबीआई के नागपुर ऑफिस में असिस्टेंट मैनेजर बन गए हैं ।
टाइम्स ऑफ इंडिया में छपी खबर के अनुसार " इसके लिए बात मई में चैंपियंस ट्रॉफी के लिए इंग्लैंड रवाना होने से पहले से चल रही थी। अधिकारियों ने उन्हें स्पोर्ट्स कोटा के अंतर्गत मंजूरी दे दी थी लेकिन राष्ट्रीय टीम के साथ जाने की वजह से वह औपचारिकताएं पूरी नहीं कर सके थे।
लेकिन श्रीलंका दौरे के लिए टीम इंडिया से जुड़ने से पहले उन्होंने सोमवार को अधिकरियों से मिलकर सारी औपचारिकताएं पूरी कर के नौकरी जॉइन अपने पिता के सपने को पूरा कर दिया।
आपको बता दें कि क्रिकेट में आने से पहले उमेश यादव का परिवार काफी साधारण था। उनके पिता कोयले की खदान में काम किया करते थे। अपने पिता की चाहत के लिए उन्होंने पहले सेना और फिर पुलिस में भर्ती होने की कोशिश की थी लेकिन कामयाब नहीं हो पाए।
इसके बाद उन्होंने अपना रुख क्रिकेट की तरफ किया और 2008 में विदर्भ टीम के अपने कप्तान प्रीतम गंधे की मदद से एयर इंडिया में कॉन्ट्रेक्ट हासिल किया था लेकिन उन्हें कोई स्थाई पद नहीं मिल पाया था।