वीरेंद्र सहवाग पर टूटा दुखों का पहाड़, भाई विनोद सहवाग को पुलिस ने किया गिरफ्तार
पूर्व भारतीय क्रिकेटर वीरेंद्र सहवाग के लिए फिलहाल कुछ भी सही होता नहीं दिख रहा है। बीते कुछ दिनों से उनके और उनकी पत्नी आरती सहवाग के तलाक की खबरें छाई हुई थीं और अब वो अपने भाई विनोद सहवाग के चलते सुर्खियों में आ गए हैं। दरअसल, गुरुवार को चंडीगढ़ पुलिस ने वीरू के भाई विनोद सहवाग को चेक बाउंस मामले में गिरफ्तार कर लिया।
उन्हें हिरासत में लेने से पहले स्थानीय अदालत ने 2023 में उन्हें और दो अन्य को श्री नैना प्लास्टिक के मालिक कृष्ण मोहन खन्ना को जारी किए गए चेक के बाउंस से संबंधित कार्यवाही में कई बार पेश न होने के लिए अपराधी घोषित किया था। अधिवक्ता विकास सागर के अनुसार, शिकायतकर्ता का प्रतिनिधित्व करने वाले ज़ाल्टा फ़ूड एंड बेवरेजेस ने 2018 में श्री नैना प्लास्टिक से 7 करोड़ की सामग्री खरीदी थी। ॉ
इसके भुगतान के रूप में, कंपनी ने 1 करोड़ के सात अलग-अलग चेक जारी किए। फिर भी, दोषपूर्ण फंड के कारण सभी चेक बाउंस हो गए। बार-बार फॉलो-अप के बावजूद, कंपनी निर्धारित अवधि के भीतर अपना बकाया चुकाने में असफल रही। नतीजतन, खन्ना ने 15 दिनों के भीतर भुगतान की मांग करते हुए एक कानूनी नोटिस भेजा, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं की गई।
इसके परिणामस्वरूप खन्ना ने ज़ाल्टा फ़ूड एंड बेवरेजेस और इसके तीन निदेशकों- विनोद सहवाग, सुधीर मल्होत्रा और विष्णु मित्तल के खिलाफ़ औपचारिक शिकायत दर्ज की। निचली अदालत ने पिछले साल तीनों को आरोपी बनाया था। हालांकि, विनोद सहवाग ने सत्र न्यायालय में इस आदेश पर बहस की और तर्क दिया कि वो न तो कंपनी के निदेशक हैं और न ही कर्मचारी और उन्हें मामले में नामित नहीं किया जाना चाहिए था। जमानत की सुनवाई के दौरान सहवाग के वकील ने कहा कि उनका मुवक्किल जानबूझकर अदालती कार्यवाही से बच नहीं रहा है, बल्कि अपने कानूनी अधिकारों का इस्तेमाल कर रहा है।
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उन्होंने अदालत को ये भी बताया कि सहवाग ने अपने खिलाफ़ दर्ज कई चेक बाउंस मामलों के बारे में सुप्रीम कोर्ट से अनुरोध किया था। सहवाग ने सभी निर्धारित सुनवाई के लिए अदालत के समक्ष उपस्थित होने की इच्छा व्यक्त की और नियमित जमानत का अनुरोध किया।