बायकाट ने की नाटिंघम जैसी निर्जीव पिच को खत्म करने की मांग
लंदन/नई दिल्ली, 15 जुलाई (हि.स.) । इंग्लैंड के पूर्व कप्तान ज्यौफ्री बायकाट ने नाटिंघम जैसी निर्जीव पिच को खत्म करने की मांग की है। बायकाट ने कहा कि नाटिंघम जैसी पिचें घरेलू तेज गेंदबाजों को प्रभावहीन खिलाडियों का समूह बना देंगी जिन्हें अपनी क्षमता पर कम या फिर बिलकुल भी भरोसा नहीं होगा। बता दें कि भारत और इंग्लैंड के बीच इसी पिच पर पहला टेस्ट मैच खेला गया था, जो बराबरी पर छुटा था।
बायकाट ने डेली टेलीग्राफ में अपने कालम में लिखा कि दोनों टीमों के तेज गेंदबाज इस धीमी, कम उछाल वाली, निर्जीव पिच से उछाल हासिल करने की कोशिश में नाकाम रहने के बाद निराश थे। जनता किसी भी तरह का मुकाबला नहीं देखने के लिए भारी भरकम राशि खर्च करके टिकट खरीदती नहीं रहेगी।
उन्होंने कहा, हमें गर्मियों के दौरान सात टेस्ट खेलने हैं और अगर हम इस तरह के विकेटों पर खेले तो हमारे तेज गेंदबाज थक जाएंगे और अपना उत्साह खो देंगे। प्रत्येक देश को अधिकार है कि वह आग्रह करे और अपने मैदानकर्मियों से ऐसी पिच हासिल करे जो उनके गेंदबाजों के अनुकूल हो। हमेशा से ऐसा होता आया है और क्रिकेट के नियमों में इसके खिलाफ कुछ भी नहीं है। यह धोखाधडी या खेल भावना के खिलाफ नहीं है। यह सिर्फ व्यावहारिक समझ है।
हिन्दुस्थान समाचार/सुनील/अनूप