IND vs SA,फ्लैशबैक: जब सचिन तेंदुलकर की कप्तानी में भारत ने साउथ अफ्रीका को हराई थी पहली टेस्ट सीरीज
साल 1996 में साउथ अफ्रीका की टीम पहली बार टेस्ट सीरीज खेलने भारत आई। दोनों देशों के बीच यह दूसरी ही टेस्ट सीरीज थी। 1992-93 में खेली गई पहली सीरीज के बाद इस सीरीज में कई नए खिलाड़ी थे और नए कप्तान भी।
भारत के कप्तान थे युवा सचिन तेंदुलकर और साउथ अफ्रीका की कमान थी हैन्सी क्रोनिए के हाथों में। तीन मैचों की सीरीज भारत ने 2-1 से अपने नाम की थी। साउथ अफ्रीका के खिलाफ टीम इंडिया की यह पहली टेस्ट सीरीज जीत थी। आइए जानते हैं,क्या हुआ था उस सीरीज में।
पहला टेस्ट, 20 से 23 नवंबर, अहमदाबाद
सरदार पटेल स्टेडियम यानी मोटेरा में पहला टेस्ट मैच खेला गया। टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करते हुए भारतीय टीम 223 रनों पर सिमट गई। कप्तान सचिन तेंदुलकर ने सर्वाधिक 42 रन की पारी खेली।
इसके जवाब में साउथ अफ्रीका ने फैनी डी विलियर्स के नाबाद 67 और डेरिल कूलियन की 43 रन पारी की बदौलत 244 रन बनाकर पहली पारी में 21 रनो की बढ़त हासिल कर ली।
दूसरी पारी में वीवीएस लक्ष्मण (51) के अर्धशतक की मदद से 190 रन बनाए और साउथ अफ्रीका को जीत के लिए 170 रनों का लक्ष्य मिला। लेकिन जवागल श्रीनाथ की कहर बरपाती गेंदबाजी के आगे साउथ अफ्रीका की टीम 105 रनों पर ही ढेर हो गई और भारत 64 रनों से मैच जीत गया। श्रीनाथ सिर्फ 21 रन देकर 6 विकेट हासिल करने के लिए और मैन ऑफ द मैच चुने गए। टेस्ट क्रिकेट में साउथ अफ्रीका के खिलाफ यह भारत की पहली जीत थी।
दूसरा टेस्ट, 27 नवंबर से 1 दिसंबर,कोलकाता
एतेहासिक ईडन गार्डन्स में दूसरा टेस्ट मैच खेला गया,जिसमें साउथ अफ्रीकी टीम ने पलटवार किया। साउथ अफ्रीका ने टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करते हुए एंड्रयू हडसन (146) और गैरी कर्स्टन (102) के शतकों के दम पर पहली पारी में 428 रन का विशाल स्कोर बनाया। इसके जवाब में भारत ने पहली पारी में 329 रन बनाए। जिसमें मोहम्मद अजहरुद्दीन ने 109 और अनिल कुंबले ने 88 रन की पारी खेली।
पहली पारी में 99 रन की बढ़त हासिल करने के बाद साउथ अफ्रीका ने दूसरी पारी में डेरेन कूलियन (नाबाद 153) और गैरी कर्स्टन (133) के शतकों की बदौलत 3 विकेट पर 367 रन बनाए और पारी घोषित कर दी।
जीत के लिए मिले 467 रनों के असंभव से लक्ष्य का पीछा करने उतरी भारत की टीम दूसरी पारी में 137 रनों पर ही ढेर हो गई। जिसके चलते साउथ अफ्रीका ने 329 रन के विशाल अंतर से जीत हासिल कर ली। गैरी कर्स्टन को दोनों पारियों में शतक जड़ने के लिए मैन ऑफ द मैच चुना गया था।
तीसरा टेस्ट, 8 से 12 दिसंबर, कानपुर
1-1 की बराबरी के साथ दोनों टीमें कानपुर के ग्रीन पार्क स्टेडियम में तीसरा और आखिरी टेस्ट मैच खेलने उतरी। कप्तान सचिन तेंदुलकर ने टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी चुनी और भारत ने पहली पारी में 237 रन बनाए। जिसमें तेंदुलकर ने सर्वाधिक 61 रन और वुरकेरी रमन ने 57 रन बनाए। इसके जवाब में साउथ अफ्रीका 177 रनों पर ही सिमट गई।
पहली पारी में मिली 60 रन की बढ़त के साथ बल्लेबाजी करने उतरी भारतीय टीम ने 7 विकेट के नुकसान पर 400 रन बनाकर पारी घोषित कर दी। मोहम्मद अजहरुद्दीन ने शानदार शतक लगाते हुए नाबाद 163 रन और राहुल द्रविड़ ने 56 रन की पारी खेली। 461 रन के असंभव से लक्ष्य का पीछा करने उतरी साउथ अफ्रीका की टीम के सामने 180 रन पर ही ढेर हो गई।
280 रन की विशाल जीत के साथ ही भारत ने सीरीज 2-1 से अपने नाम कर ली। साउथ अफ्रीका के खिलाफ टेस्ट क्रिकेट में यह भारत की पहली सीरीज जीत थी।