क्या ऑस्ट्रेलियाई दौरा युवराज के लिए है आखरी मौका
19 दिसंबर को भारतीय क्रिकेट टीम के चयनकर्ताओं ने 12 जनवरी से शुरु होने वाले ऑस्ट्रेलियाई दौरे के लिए भारतीय टीम का चयन कर दिया गया। वनडे और टी- 20 में भारत के चयनकर्ताओं ने एक तरफ जहां कई ऐसे खिलाड़ियों को टीम में शामिल किया जिसकी कल्पना किसी को नहीं थी खासकर आशिष नेहरा ने टी- 20 में वापसी कर सबको चौका दिया तो वहीं टी- 20 में युवराज की वापसी से साबित हो गया कि यदि घरेलू टूर्नामेंट में बेहतरीन परफॉर्मेंस आपको सीनियर टीम में जगह दिला सकता है।
⇒ भारत का ऑस्ट्रेलियाई दौरा का शेड्यूल
ऑस्ट्रेलिया दौरे के तुरंत बाद भारत को टी- 20 वर्ल्ड कप में खेलना है शायद इसी सोच के चलते चयनकर्ताओं ने युवराज औऱ नेहरा को टी- 20 में मौका दिया। दोनों खिलाड़ियों का रिकॉर्ड टी- 20 में बेहद ही कमाल का रहा है।
आशिष नेहरा ने हालांकि भारत के लिए अपना आखरी टी- 20 मैच 9 जनवरी 2011 में श्रीलंका के खिलाफ नागपुर में खेला था। इसके बाद से लगभग 5 साल के बाद भारत के तरफ से कोई इंटरनेशनल मैच खेलेगें। टी – 20 में नेहरा ने 8 मैच खेलकर 13 विकेट लिए हैं लेकिन आईपीएल में नेहरा का परफॉर्मेंस बेहद ही असाधारण रहा है। नेहरा ने आईपीएल में अबतक 74 मैच खेलकर 89 विकेट चटका चुके हैं तो वहीं 2015 के आईपीएल सीजन में 22 विकेट चटकाए थे जो सर्वाधिक विकेट लेने वाले लिस्ट में तीसरे नंबर पर थे। आशिष नेहरा ने अपने परफॉर्मेंस से एक बार इस कहावत को सार्थक कर दिया कि “ओल्ड इज गोल्ड”।
युवराज सिंह: जैसे ही टी- 20 में युवराज सिंह का नाम खिलाड़ियों की सूची में दर्ज हुआ वैसे से युवराज सिंह के प्रशंसक खुशियां मनानें लगे। कई सालों से युवराज सिंह भारती टीम में वापसी को लेकर कड़ी मेहनत कर रहे थे। लेकिन विजय हजारें ट्रॉफी में युवराज की बल्लेबाजी फॉर्म ने आखिरकार एक बार फिर से सीनियर टीम में अपनी जगह बनानें में कामयाब हो गए। युवराज सिंह के लिए यह एक बेहतरीन मौका होगा कि ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ टी- 20 में अच्छा परफॉर्मेंस करें ताकि टी- 20 वर्ल्ड कप के लिए अपनी जगह को बनाए रख सके। युवराज सिंह ने विजय हजारे ट्रॉफी में 103.64 की स्रटाइक रेट के साथ 341 रन जमाए हैं।
अपने पारियों के दौरान युवराज सिंह 3 दफा पचास का स्कोर खड़ा करने में सफल रहें तो वहीं 2 बार 90 या उससे ज्यादा रन बनानें में कामयाब रहे हैं। भारत के वनडे और टी- 20 टीम के कप्तान इस बात से भली भांती वाकिफ हैं कि युवराज टी- 20 में किस कदर से भारतीय टीम के लिए लाभकारी हो सकते हैं। टी- 20 में युवराज सिंह का स्ट्राइक रेट 145 का आसपास का है।
युवराज सिंह के करियर में 2016 का ऑस्ट्रेलिया दौरा बेहद ही अहम साबित होगा। इस दौरे पर युवराज सिंह के द्वारा किया गया परफॉर्मेंस उनके क्रिकेट भविष्य की सीमा तय करेगा।
युवराज और नेहरा के बाद जिस खिलाड़ी ने क्रिकेट प्रेमियों का ध्यान अपने ओर खीचा वो तेज गेंदबाज aबरिंदर सरन हैं। भारत में हमेशा से तेज गेंदबाजों का अकाल रहा है ऐसे में चयनकर्ताओं के द्वारा तेज गेंदबाज के तौर पर इस युवा तेज गेंदबाज बरिंदर सरन को ऑस्ट्रेलियाई दौरे पर टीम में शामिल करना एक अच्छा कदम हैं।
बरिंदर सरन की बात करी जाए तो बायें हाथ के इस युवा तेज गेंदबाज ने पंजाब के लिए 11 फर्स्ट क्लास मैच खेलकर 34.06 के औसत के साथ 32 विकेट चटका चुके हैं। 2011 में बरिंदर सरन ने उड़ीसा के खिलाफ अपने घरेलू क्रिकेट की शुरुआत करी थी। हाल ही में विजय हजारे ट्रॉफी में बरिंदर सरन ने सिर्फ 6 मैच में 14 विकेट लेकर चयनकर्ताओं को इंप्रेस करने में सफल रहे। इतना ही नहीं इस युवा तेज गेंदबाज ने रणजी ट्रॉफी 2015- 16 में 18 विकेट चटकाकर सबसे सफल गेंदबाज के लिस्ट में दूसरे नंबर पर कायम रहे थे जो बरिंदर सरन के काबिलियत को बखुबी दर्शाता है।
बरिंदर सरन को राजस्थान रॉयल्स की टीम ने 10 लाख रूपये में खरीदकर शामिल किया था। बरिंदर सरन को आईपीएल में केवल एक ही मैच खेलने का मौका मिला था। कोलकाता नाइटराइडर्स के खिलाफ 16 मई 2015 को टी- 20 मैच में बरिंदर सरन ने 3 ओवर में 35 रन दिए थे।
इस मौके का फायदा मनीष पांडे को उठाना चाहिए। बड़े खिलाड़ी ऐसे ही मौके पर अपनी उपस्थिती को सफल बनाकर करियर को संवार सकते हैं। इन खिलाड़ीयों के टीम में शामिल होने से ऑस्ट्रेलिया दौरा क्रिकेट प्रेमियों के लिए और भी मजेदार हो गया है क्रिकेट पंडित भी इस सीरीज पर क्रिकेट खिलाड़ियों के परफॉर्मेंस पर कड़ी नजर रखेगें।
विशाल भगत