'रिंकू और जायसवाल को अभी मौका दो, नहीं तो देर हो सकती है', अर्जुन तेंदुलकर को भी दिया भज्जी ने मैसेज
हर आईपीएल सीजन की तरह इस बार भी हमें कुछ युवा खिलाड़ी अपनी प्रतिभा दिखाते हुए दिख रहे हैं। मौजूदा सीजन की बात करें तो जिन दो युवा खिलाड़ियों ने करोड़ों फैंस को अपना दीवाना बनाया है वो हैं रिंकू सिंह और यशस्वी जायसवाल। इन दोनों खिलाड़ियों की टीमें बेशक इस सीजन में खराब खेली हों लेकिन इन दोनों ने अपनी चमक बिखेरने में कोई कसर नहीं छोड़ी है। ये दोनों एक दूसरे के बेहद विपरीत बल्लेबाज़ हैं। जायसवाल एक सलामी बल्लेबाज हैं और रिंकू एक फिनिशर हैं लेकिन बल्लेबाजी के दौरान दोनों का दृष्टिकोण एक जैसा है।
इन दोनों खिलाड़ियों ने इस सीजन में जैसा फॉर्म दिखाया है उसे देखने के बाद कुछ पूर्व खिलाड़ियों और क्रिकेट एक्सपर्ट्स का मानना है कि इन दोनों को जल्द से जल्द भारतीय टीम में शामिल किया जाना चाहिए। भारतीय टीम के पूर्व ऑफ स्पिनर हरभजन सिंह ने भी इस बात की वकालत की है कि इन दोनों को तुरंत भारतीय टीम में शामिल किया जाना चाहिए।
हरभजन ने हिंदुस्तान टाइम्स से बातचीत के दौरान कहा, "मैं निश्चित रूप से मानता हूं कि जब कोई अच्छा खेल रहा है या अच्छा कर रहा है, तो उन्हें सिस्टम का हिस्सा होना चाहिए। मैं ये नहीं कह रहा हूं कि उन्हें सीधे प्लेइंग इलेवन में शामिल किया जाए, लेकिन अगर उन्हें टीम में लाया जाए तो वो निश्चित रूप से कुछ सीखेंगे और बेहतर होंगे। मुझे लगता है कि रिंकू और यशस्वी के लिए खिलाड़ियों के करीबी ग्रुप में रहने का शायद ये सही समय है। उन्हें 20 या 30 खिलाड़ियों के ग्रुप का हिस्सा बनाएं। यशस्वी और रिंकू जैसी प्रतिभाओं के लिए, ये धारणा बहुत जल्दी हो सकती है लेकिन सच्चाई ऐसी नहीं है। वो पहले से ही इस स्तर पर खेल रहे हैं और उस पर अच्छा खेल रहे हैं। उन्हें अभी मौका दें अन्यथा देर हो सकती है।"
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भज्जी ने इसके साथ ही अर्जुन तेंदुलकर को भी एक मैसेज दिया। उन्होंने कहा, "उसे अभी भी अपने कौशल में सुधार करने की जरूरत है। बेशक, सभी को समय लगता है। यहां तक कि 50 मैच खेलने वाला एक खिलाड़ी भी एक ठोस खिलाड़ी बनने की गारंटी नहीं देता है। हर मैच के साथ वो बहुत कुछ सीखेगा। निश्चित रूप से, उसे देखकर अच्छा लगता है। जिस तरह से उसने गेंदबाजी की। हम सभी ने देखा कि एक महंगा 31 रन का ओवर। यहां तक कि बड़े खिलाड़ियों को भी रन पड़ते हैं लेकिन अच्छी बात ये है कि वो सीखेंगे। अगर वो नहीं खेला होता, तो वो इस खेल की कठोर वास्तविकता को नहीं समझ पाता। अंत में, केवल जब आप एक दौड़ में भाग लेते हैं और पिछड़ जाते हैं, तब आपको पता चलता है कि आपको अपने आप पर और अधिक काम करने की आवश्यकता है। उन्हें पता चल जाएगा कि क्या है।"