युवा खिलाड़ियों ने आईपीएल वाला माइंडसेट अपना लिया है : मनोज तिवारी

Updated: Tue, Feb 20 2024 19:56 IST
CAB felicitates Manoj Tiwari with golden bat as he bids cricket goodbye (Image Source: IANS)
Manoj Tiwari:

कोलकाता,20 फरवरी (आईएएनएस) केंद्रीय अनुबंधित और लक्षित खिलाड़ियों के लिए घरेलू क्रिकेट खेलना अनिवार्य करने के बीसीसीआई के फ़ैसले पर पूर्व भारतीय क्रिकेटर मनोज तिवारी ने कहा है कि वह ख़ुद भी पिछले कुछ वर्षों से इस संबंध में अपनी चिंता ज़ाहिर करते रहे हैं।

तिवारी ने इस महीने की शुरुआत में अपना आक्रोश व्यक्त करते हुए X पर पोस्ट किया था कि रणजी ट्रॉफ़ी अगले सीज़न से कैलेंडर से हटा दिया जाना चाहिए। उन्होंने अपनी इस पोस्ट में कई बिंदुओं पर प्रकाश डाला था, जिसमें ख़राब अंपायरिंग, ठंड में उत्तर और पूर्वी भारत में मैचों का कार्यक्रम और 'ए' टूर का कार्यक्रम शामिल था।

ए टूर के कार्यक्रम के चलते कई टीमों को अपने प्रमुख खिलाड़ियों के बिना खेलने पर मजबूर होना पड़ा था। ख़ुद बंगाल भी टूर्नामेंट के दौरान मुकेश कुमार, आकाश दीप और अभिमन्यु ईश्वरन के बिना खेली थी। तिवारी की इस पोस्ट के चलते उनके ऊपर 20 फ़ीसदी मैच कटौती का जुर्माना भी लगाया गया था।

संन्यास के बाद तिवारी ने अपने सम्मान समारोह में कहा, "अगर मैंने सोशल मीडिया पर पोस्ट नहीं किया होता तो बीसीसीआई की ओर से ऐसा दिशानिर्देश ही नहीं आता। मेरे पोस्ट के चलते बीसीसीआई सचिव ऐसा फ़ैसला करने पर मजबूर हुए। टूर्नामेंट के इस स्टेज़ पर उनके इस फ़ैसले से यह प्रतीत होता है कि वह आईपीएल में सफल हो चुके हाई प्रोफ़ाइल खिलाड़ियों सहित अन्य खिलाड़ियों द्वारा रणजी ट्रॉफ़ी को अधिक तरजीह ना देने को लेकर चिंतित हैं।"

इस महीने की शुरुआत में बीसीसीआई सचिव जय शाह ने अपने एक मेल में खिलाड़ियों द्वारा घरेलू क्रिकेट के ऊपर आईपीएल को तरजीह दिए जाने को लेकर चिंता व्यक्त की थी। शाह ने ई-मेल में लिखा था, "कुछ खिलाड़ियों ने घरेलू क्रिकेट की बजाय आईपीएल को अधिक तरजीह देना शुरु कर दिया है। यह एक ऐसा क़दम है जिसकी अपेक्षा नहीं थी। घरेलू क्रिकेट ही भारतीय क्रिकेट की आधारशिला है।"

इस ई-मेल के ज़रिए इशान किशन और दीपक चाहर जैसे खिलाड़ी केंद्र में थे जिन्होंने फ़िट होने के बावजूद ख़ुद को रणजी ट्रॉफ़ी के लिए उपलब्ध नहीं बताया। किशन ने दक्षिण अफ़्रीका दौरे पर मानसिक स्वास्थ्य का हवाला देकर अपना नाम वापस लेने के बाद से किसी भी तरह की क्रिकेट नहीं खेली है जबकि दीपक चाहर नवंबर में ऑस्ट्रेलिया के ख़िलाफ़ घरेलू श्रृंखला में भारतीय टीम का हिस्सा थे लेकिन इसके बाद उन्होंने भी कोई क्रिकेट नहीं खेला है।

तिवारी ने कहा, "मैंने गौर किया है कि युवा खिलाड़ियों ने आईपीएल केंद्रित माइंडसेट अपना लिया है। जो आईपीएल नहीं खेलते, वे ख़ाली समय में दुबई या किसी अन्य जगह समय व्यतीत करने चले जाते हैं। यह ट्रेंड रणजी ट्रॉफ़ी की प्रासंगिकता को बुरी तरह से प्रभावित कर रहा है। हां, आईपीएल हम सबके लिए एक बड़ा मंच है लेकिन मैं बीसीसीआई अध्यक्ष और सचिव से रणजी ट्रॉफ़ी की प्रासंगिकता को बढ़ाने का आग्रह करता हूं।"

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