भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच बॉर्डर-गावस्कर सीरीज के दौरान टीम इंडिया के खिलाड़ियों को नस्लवादी टिप्पणी का सामना करना पड़ा था। टीम इंडिया के खिलाड़ियों के साथ हुए इस दुर्व्यवहार के बाद मेलबर्न में एक छात्र की मौत के लिए सजा सुनाए गए पुनीत नाम के शख्स ने दिल्ली की अदालत से गुजारिश की है कि उन्हें ऑस्ट्रेलिया प्रत्यर्पित नहीं किया जाए क्योंकि टीम इंडिया के साथ हुए नस्लीय दुर्व्यवहार से पता चलता है कि ऑस्ट्रेलियाई नस्लवादी हैं।
पुनीत ने शराब के नशे में गाड़ी चलाते हुए मेलबर्न में एक छात्र को मारा था और उसके बाद 2008 में ही भारत भाग आया था। टीम इंडिया के खिलाड़ियों के साथ हुए नस्लीय दुर्व्यवहार का हवाला देते हुए उस शख्स के वकील ने दिल्ली की अदालत में कहा है कि वह ऑस्ट्रेलिया में सुरक्षित नहीं रहेंगे।
बता दें कि सिडनी टेस्ट मैच के दौरान भारतीय क्रिकेटर मोहम्मद सिराज पर नस्लीय दुर्व्यवहार का आरोप लगने के बाद एससीजी से छह क्रिकेट अटेंडरों को हटा दिया गया था। भारतीय गेंदबाज मोहम्मद सिराज ने दावा किया था कि ग्राउंड ब्रेवॉन्ग स्टैंड में युवकों के समूह ने कथित तौर पर उनके प्रति नस्लवादी टिप्पणी की थी।
