आईपीएल किस्सा : एक ओवर की हर गेंद पर बाउंड्री कोई मजाक नहीं पर सुरेश रैना का इरादा कुछ और ही था
6,4,4,4,4,4: मोईन अली ने ट्रेंट बोल्ट के एक ओवर में 26 रन ठोक दिए और सबसे खास बात ये कि ओवर की हर गेंद पर बाउंड्री शॉट लगाया। ये हुआ इस साल- मैच चेन्नई सुपर किंग्स और राजस्थान रॉयल्स के
6,4,4,4,4,4: मोईन अली ने ट्रेंट बोल्ट के एक ओवर में 26 रन ठोक दिए और सबसे खास बात ये कि ओवर की हर गेंद पर बाउंड्री शॉट लगाया। ये हुआ इस साल- मैच चेन्नई सुपर किंग्स और राजस्थान रॉयल्स के बीच। एक ओवर में एक छक्का और लगातार पांच चौके कोई मजाक नहीं। तब भी चेन्नई की टीम हार गई। क्या आईपीएल में ऐसा पहली बार हुआ कि एक ओवर की सभी 6 गेंदों पर बाउंड्री और तब भी हार गए? नहीं- सुरेश रैना (विरुद्ध पंजाब, 2014- 7 गेंद) और जोस बटलर (विरुद्ध केकेआर, 2018) उनसे पहले ये दुर्भाग्य झेल चुके हैं।
असल में इन दोनों अन्य मिसाल में सुरेश रैना ने तो जिस पारी के दौरान ये रिकॉर्ड बनाया, उसे तो क्रिकेट पंडित आज तक की आईपीएल में खेली सबसे बेहतरीन पारी में से एक गिनते हैं। क्या इस सीजन में कोई सुरेश रैना जैसा खेला? सीधे चलते हैं सुरेश रैना की उस पारी पर।
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रैना के सामने थे परविंदर अवाना और उस एक ओवर में 33 रन बने और मुंबई में किंग्स इलेवन पंजाब वाले देखते रह गए। क्वालीफायर 2 मैच था ये। हालांकि चेन्नई सुपर किंग्स को जीत के लिए, 227 रन का लक्ष्य दिया था पर जैसे सुरेश रैना खेले- लगा था कि ये रन तो बन जाएंगे। उनके रन आउट होने से ही किंग्स इलेवन पंजाब की 24 रन की जीत संभव हुई थी। रैना ने सिर्फ 25 गेंदों में 87 रन बनाए और किसी भी गेंदबाज को नहीं बख्शा लेकिन परविंदर अवाना की ख़ास 'खातिर' हुई। आईपीएल में, इससे पहले, सिर्फ एक बार इससे महंगा ओवर फेंका गया था था- बल्लेबाज थे क्रिस गेल (2011) और गेंदबाज प्रशांत परमेश्वरन। गेल ने तब 37 रन बनाए थे- 3 चौके और 4 छक्के (नो बॉल में 1)। देखिए रैना ने उस ओवर में क्या किया :
- 5.1 : 6- मिडविकेट बाउंड्री।
- 5.2 : 6- लेंथ बॉल पर लॉन्ग-ऑन बाउंड्री।
- 5.3 : 4- फ्लिक किया और मिडविकेट बाउंड्री।
- 5.4: 4- डीप स्क्वेयर लेग बाउंड्री।
- 5.5 : नो बॉल- 4 रन। ये हाई फुल टॉस थी और थर्ड मैन बाउंड्री।
- 5.5 : 4- लेंथ बॉल मिड-ऑन के ऊपर से लॉन्च।
- 5.6: 4- इसी के साथ चेन्नई के 6 ओवर में 100 बन गए ओर, इस ओवर में 6 6 4 4 4नो बॉल 4 4 यानि कि कुल 33 रन।
सुरेश रैना को यूं ही टी 20 के सबसे बेहतरीन बल्लेबाजों में से नहीं गिनते- आईपीएल रिकॉर्ड ने उन्हें मिस्टर आईपीएल का टैग दिया। उस दिन एमएस धोनी ने टॉस जीता और जॉर्ज बेली की पंजाब इलेवन को बल्लेबाजी के लिए बुलाया। वानखेड़े की पिच का मिजाज बिलकुल अलग निकला। सहवाग ने अपना दूसरा आईपीएल शतक बनाया- 58 गेंदों में 122 रन और चेन्नई के लिए 227 रन का विशाल लक्ष्य। सहवाग की यही बल्लेबाजी, रैना के लिए प्रेरणा बनी।
प्लेसिस के गोल्डन डक के बाद सुरेश रैना नंबर 3 पर आए- मिचेल जॉनसन की 150 किमी वाली गेंद पर चौका लगाकर अपनी पारी की शुरुआत की। परविंदर अवाना के ओवर में 33 रन- 2 छक्के और 5 चौके (1 नो बॉल सहित)। दुर्भाग्य से, अगले ओवर की पहली गेंद पर मैकुलम के साथ गलत-फहमी में सुरेश रैना आउट हो गए- 25 गेंदों में 12 चौकों और 6 छक्कों सहित 87 रन। यह मैच का टर्निंग पॉइंट था। रैना की सारी मेहनत बेकार गई।
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सुरेश रैना ने हमेशा माना कि यह पारी उनके लिए बड़ी खास है और उस दिन वे अपनी टीम के लिए मैच जीतना चाहते थे। जीत से किंग्स इलेवन पंजाब ने अपने पहले आईपीएल फाइनल में जगह बनाई, लेकिन खिताबी मुकाबले में कोलकाता नाइट राइडर्स से हार गए। रैना ने कहा- 'जब मैंने वीरू भाई को ढेर सारे छक्के लगाते देखा, तो मुझे लगा कि विकेट बल्लेबाजी के लिए बहुत अच्छा है।' इसे न सिर्फ आईपीएल, सबसे महान टी 20 पारियों में से एक माना जाता है।