क्या रोहित के बाद कैप्टन बनना चाहते थे रविंद्र जडेजा? ऑलराउंडर ने दिया सवाल का जवाब
भारतीय क्रिकेट टीम के स्टार ऑलराउंडर रविंद्र जडेजा ने इंग्लैंड के खिलाफ दूसरे टेस्ट की पहली पारी में 89 रनों की शानदार पारी खेली और बता दिया कि टेस्ट फॉर्मैट में वो अभी भी टीम के लिए अहम योगदान दे सकते हैं। जडेजा 2009 से अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट खेल रहे हैं और ये उनका 82वां टेस्ट मैच है। जडेजा ना सिर्फ भारत के लिए घर पर बल्कि बाहर भी भारतीय कप्तान की पहली पसंद रहते हैं और ये सिलसिला अभी भी जारी है।
रोहित शर्मा, विराट कोहली और रविचंद्रन अश्विन के टेस्ट फॉर्मैट से संन्यास लेने के बाद वो टीम में सबसे सीनियर खिलाड़ी हैं और दूसरे दिन के खेल के बाद जब वो प्रेस कॉन्फ्रेंस में आए तो उनसे एक पत्रकार ने बहुत ही मज़ेदार सवाल पूछा। पत्रकार ने उनसे पूछा कि क्या उनके शानदार करियर के दौरान कभी उनके मन में भारतीय टेस्ट कप्तान बनने का विचार आया था।
इस सवाल का जवाब देते हुए जडेजा के चेहरे पर मुस्कान आ गई और इस अनुभवी खिलाड़ी ने पत्रकारों से कहा, "नहीं, अब वो समय चला गया है।"
बता दें कि जडेजा दूसरे टेस्ट की पहली पारी में 137 गेंदों पर 89 रन की शानदार पारी खेली। वहीं, गिल ने 387 गेंदों पर 269 रन की रिकॉर्ड तोड़ पारी खेली। इन पारियों की बदौलत भारत ने पहली पारी में 587 रन का विशाल स्कोर बनाया। इस दौरान जडेजा ने गिल की तारीफ करते हुए कहा कि 25 वर्षीय गिल जब बल्लेबाजी करते हैं तो कप्तानी की अतिरिक्त जिम्मेदारी नहीं लेते।
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जडेजा ने कहा, "ईमानदारी से कहूं तो वो बहुत आत्मविश्वास से भरे हुए दिखते हैं। बल्लेबाजी में वो कप्तान की तरह नहीं दिखते। उन्हें अतिरिक्त जिम्मेदारी दी गई है। वो अपने साथ सबकुछ लेकर चलते हैं। मुझे उनकी बल्लेबाजी में ऐसा कुछ नहीं लगता। आज भी दुर्भाग्य से गेंद उनके (फील्डर के) हाथ में चली गई। लेकिन आज मुझे नहीं लगा कि वो इस पारी में आउट होंगे। उन्होंने बहुत अच्छा खेला। जब हम साथ में बल्लेबाजी कर रहे थे, तो हम साझेदारी के बारे में बात कर रहे थे कि हमारी साझेदारी लंबी होगी और हम एक-दूसरे से बात करते रहेंगे।"