‘किसी की हत्या हो सकती है’- वेस्टइंडीज के खिलाफ हुआ इंग्लैंड क्रिकेट इतिहास का सबसे डरावना टेस्ट मैच
West Indies vs England Test Sabina Park 1986: इंग्लैंड के दिग्गज बल्लेबाज ग्राहम गूच से एक इंटरव्यू में पिछले दिनों पूछा गया कि वे अपने टेस्ट करियर में सबसे डरावना टेस्ट यानि कि ऐसा जिसमें खेलते हुए डर लगा हो, कौन सा खेले, तो जवाब था- वेस्टइंडीज के विरुद्ध 1986 में, सबीना पार्क, किंग्स्टन टेस्ट। अगर ग्राहम गूच जैसा बल्लेबाज ऐसा कहे तो जरूर कुछ ख़ास बात रही होगी इस टेस्ट/सीरीज में। आज वेस्टइंडीज में खेले जाने वाले टेस्ट ऐसे डराने वाले नहीं हैं पर 1986 के उस टेस्ट का जिक्र आज के क्रिकेट प्रेमियों को ये अहसास करा देगा कि उस दौर में वेस्टइंडीज में टेस्ट खेलना कैसा था?
जो इंग्लैंड टीम सीरीज जीतने के इरादे से वहां गई थी, उसकी पैट्रिक पैटरसन की बदौलत पहले टेस्ट में करारी हार के बाद हालत ये थी कि जानकारों ने भविष्यवाणी कर दी थी कि इंग्लैंड सीरीज को अभी से 5-0 से हार गया है और वास्तव में ऐसा ही हुआ। जब ग्राहम गूच जैसा बल्लेबाज उस टेस्ट के बारे में ऐसा कहे तो वास्तव में कोई संशय नहीं रहता क्योंकि वेस्टइंडीज की उस दौर की तेज गेंदबाजी के बारे में चाहे जो कहें, 1980 से 1995 तक, वेस्टइंडीज का टेस्ट क्रिकेट पर दबदबा होने के बावजूद किसी ने भी उनके विरुद्ध गूच से ज्यादा रन नहीं बनाए और सिर्फ एलन बॉर्डर ने ही ज्यादा गेंद खेलीं।
टेस्ट में भी सबसे खतरनाक दिन था शुक्रवार 21 फरवरी का- सबीना पार्क में, सीरीज का पहला दिन। द टाइम्स के जॉन वुडकॉक ने लिखा- उन्हें लगा कि किसी की हत्या हो सकती है। मजे की बात ये है कि आज इस टेस्ट की सिर्फ बातें हैं- आधुनिक दौर का टेस्ट होने के बावजूद इसे टेलीविजन पर ब्रॉडकास्ट नहीं किया गया- बीबीसी से वेस्टइंडीज़ क्रिकेट बोर्ड इतना पैसा मांग रहा था कि उन्हें ये महंगा सौदा लगा। यह इंग्लैंड का ऐसा आखिरी टेस्ट है जिसका कोई फुटेज नहीं और ये शर्म की बात है।
ठीक है सिर्फ 18 महीने पहले ही वेस्टइंडीज ने इंग्लैंड में 5-0 से सीरीज जीत हासिल की थी पर इस टूर तक हालात काफी बदल चुके थे और कहते थे कि इंग्लैंड के पास दुनिया में सबसे अच्छी बल्लेबाजी लाइन-अप है। तब भी लगता है कि सीरीज सही मुहूर्त में शुरू नहीं हुई और पहले टेस्ट से पहले ही बहुत कुछ ऐसा हुआ जिसने सारा नजारा ही बदल दिया। देखिए-
* टेस्ट से पहले प्रैक्टिस के नाम पर तीन फर्स्ट क्लास और एक वनडे खेले।
* इंग्लैंड के लिए घटिया नेट्स के इंतजाम पर बहस के साथ टूर शुरू हुआ।
* उसके बाद राजनीति शुरू हो गई और मेहमान टीम में उन चार खिलाड़ी का विरोध होने लगा जो चार साल पहले एक रिबेल टूर पर दक्षिण अफ्रीका गए थे।
* टीम के लंदन से रवाना होने से ठीक पहले डेविड गॉवर की मां की मौत हो गई।
* उधर बॉथम ने कुछ ही दिन पहले अपनी 1000 मील की चैरिटी वॉक पूरी की थी। इसलिए इन दोनों को टूर के पहले मैच से पहले रेस्ट दे दिया पर दोनों समुद्र में मौज-मस्ती करते और बियर पीते दिखाई दिए।
* इंग्लैंड को पहले टूर मैच में विंडवर्ड आइलैंड्स ने सिर्फ 94 रन पर आउट कर दिया- हालांकि ये वह टीम थी जिसमें एक भी वेस्टइंडियन क्रिकेटर नहीं था। इंग्लैंड की 7 विकेट से हार पर बड़ा शोर हुआ।
* इंग्लैंड के खिलाड़ी तरह-तरह की मुश्किलों में फंसे-
- होटल के टेनिस कोर्ट का शीशा तोड़ दिया
- बॉथम पर लिंडी फील्ड (भूतपूर्व मिस बारबाडोस) के साथ एक रात के सेक्स के दौरान बेड तोड़ने का आरोप
- डेविड गॉवर पर इंग्लैंड के क्रिकेटर पॉल डाउनटन की पत्नी के साथ संबंध का आरोप- कई ब्रिटिश अखबारों ने गॉवर के उन्हें गाल पर चूमने की फोटो छापी
* अगले गेम में लीवार्ड आइलैंड्स के विरुद्ध जीत के लिए सिर्फ 116 रन बनाने थे पर स्कोर 94-8 हो गया और वह, नंबर 3 बल्लेबाज रिची रिचर्डसन 5 विकेट ले गए जिसने इससे पहले कभी फर्स्ट क्लास क्रिकेट में विकेट नहीं लिया था।
* जमैका वनडे के दौरान गैटिंग, जो अब तक टूर में इंग्लैंड के सर्वश्रेष्ठ बल्लेबाज थे- एक गेंद को हुक करने की कोशिश में उनकी नाक पर चोट लगी। वे सर्जरी के लिए इंग्लैंड लौट आए।
* टीम की हालत ये थी कि कहा गया कि 45 साल के जेफ्री बॉयकॉट को टीम में शामिल करो।
* उस समय जब पूरे विश्व में टॉप तेज गेंदबाज 90 मील प्रति घंटे की रफ्तार से गेंदबाजी कर रहे थे- पैटरसन 100 मील प्रति घंटे की रफ्तार से गेंदबाजी कर रहे थे।
इसके बाद अगर इंग्लैंड के जमैका टेस्ट को अब तक खेला गया सबसे डरावना मैच कहा गया तो हैरानी की क्या बात है? 1932-33 की बॉडीलाइन सीरीज के टेस्ट 'ट्र्यू' पिचों पर थे- ये सबीना पार्क टेस्ट एक शैतानी पिच पर खेला गया। उस पर तब बाउंसर फेंकने की गिनती की कोई सीमा नहीं थी- सब अंपायर के भरोसे था।
Also Read: Live Score
टेस्ट 3 दिन चला। इंग्लैंड 45.3 ओवर में 159 रन पर आउट (पैटरसन ने 30 रन पर 4 विकेट और गूच सर्वाधिक 51 रन)। जवाब में वेस्टइंडीज दिन के आखिर में 85-0 पर थे। वेस्टइंडीज ने 307 रन बनाए जिसमें 3 बल्लेबाज के फिफ्टी थे। दूसरी पारी में इंग्लैंड 152 यानि कि सिर्फ पारी की हार बची और पेटरसन ने 3 विकेट और लिए। बस, उस 3 दिन की हार के बाद ही कह दिया था कि इंग्लैंड सभी 5 टेस्ट हारेगा और वही हुआ।