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दीपक हुड्डा नहीं बने टीम का हिस्सा तो फूटा पूर्व कप्तान का गुस्सा, बोले- 'द्रविड़ का सोच नहीं चाहिए'

दीपक हुड्डा अपनी रेड हॉट फॉर्म में हैं, लेकिन इसके बावजूद टीम में उन्हें कभी अंदर तो कभी बाहर का रास्ता देखना पड़ रहा है।

Nishant Rawat
By Nishant Rawat July 30, 2022 • 12:18 PM
Cricket Image for दीपक हुड्डा नहीं बने टीम का हिस्सा तो फूटा पूर्व कप्तान का गुस्सा, बोले- द्रविड़ क
Cricket Image for दीपक हुड्डा नहीं बने टीम का हिस्सा तो फूटा पूर्व कप्तान का गुस्सा, बोले- द्रविड़ क (Image Source: Google)
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भारत ने वेस्टइंडीज को पहले टी-20 मुकाबले में 68 रनों हराया है, लेकिन इसके बावजूद पूर्व कप्तान कृष्णमाचारी श्रीकांत टीम की प्लेइंग इलेवन से बिल्कुल भी खुश नज़र नहीं आ रहे हैं। दरअसल, पूर्व क्रिकेटर का मानना है कि टी-20 फॉर्मेट में दीपक हुड्डा की जगह श्रेयस अय्यर से पहले बनती है, जिस वज़ह से उन्होंने हेड कोच राहुल द्रविड़ की सोच से नाराजगी जताई है।

दरअसल, पहले टी-20 मुकाबले में भारतीय टीम की प्लेइंग इलेवन सामने आने के बाद कृष्णमाचारी श्रीकांत और प्रज्ञान ओझा ने फैन कोड पर अपनी राय रखी। श्रीकंत बोले, 'हुड्डा कहां हैं? उसने टी-20 में अच्छा किया है। उसने वनडे क्रिकेट में भी काफी अच्छा खेला था। दीपक को टीम का हिस्सा होना चाहिए। आपको यह समझने की जरूरत है कि टी-20 क्रिकेट में ऑलराउंडर चाहिए, बैटिंग ऑलराउंडर, बॉलिंग ऑलराउंडर आपके पास जितने ऑलराउंडर होंगे उतना ही आपके लिए अच्छा रहेगा।'

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इस बातचीत के दौरान प्रज्ञान ओझा ने भारतीय हेड कोच राहुल द्रविड़ का बचाव करने की कोशिश की। पूर्व क्रिकेटर ने कहा, 'राहुल भाई, इस बात में विश्वास करते हैं कि अगर किसी खिलाड़ी ने टीम के लिए अच्छा किया है तो उसे बेक किया जाना चाहिए। उसके बाद आप किसी दूसरे खिलाड़ी के ऑप्शन की तरह जा सकते हो।'

ओझा ने अपनी बात पूरी भी नहीं कि थी तभी श्रीकंत ने पू्र्व गेंदबाज़ को रोका और कहा, 'राहुल द्रविड़ का सोच हमको नहीं चाहिए। आपका सोच चाहिए। अभी चाहिए, अभी दो।' श्रीकांत की बात सुनकर ओझा ने हल्की मुस्कान दी और पूर्व कप्तान की हां में हां मिलता हुए अपना जवाब दिया।

ओझा बोले, 'हुड्डा तो टीम में होना चाहिए। बिल्कुल होना चाहिए।' बता दें कि श्रीकांत ने अपने शब्दों से साफ किया है कि भारतीय टीम में खिलाड़ियों को उनकी वर्तमान फॉर्म के अनुसार टीम में जगह मिलनी चाहिए ना कि पुराने प्रदर्शन के नजरिए से। हालांकि बीते समय में देखा गया है कि भारतीय टीम में ऐसा नहीं हुआ है।  


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