'मैं हमेशा साबित करना चाहता था कि मैं बैटिंग कर सकता हूं', 11 नंबर पर सेंचुरी लगाने के बाद तुषार देशपांडे ने तोड़ी चुप्पी
मुंबई के हरफनमौला खिलाड़ी तनुश कोटियन और तुषार देशपांडे ने बड़ौदा के खिलाफ रणजी ट्रॉफी क्वार्टर फाइनल के दौरान इतिहास रच दिया। इन दोनों ने नंबर-10 और 11 पर खेलते हुए, एक ही पारी में शतक जड़ दिया और इसके साथ ही ये जोड़ी इस कारनामे को करने वाली प्रथम श्रेणी इतिहास में केवल दूसरी जोड़ी बन गई।
तुषार देशपांडे ने अपनी शतकीय पारी अपने पिता को समर्पित की है। तेज गेंदबाज ने कहा कि उनके पिता का हमेशा मानना था कि वो एक बहुत अच्छे ऑलराउंडर हो सकते हैं और इस शतक से उन्होंने अपने पिता को सही साबित कर दिखाया। समाचार एजेंसी पीटीआई से बात करते हुए, देशपांडे ने अपनी बल्लेबाजी के बारे में खुलकर बात की।
तुषार ने कहा, "इस पारी से बहुत संतुष्ट महसूस कर रहा हूं क्योंकि मैं 11वें नंबर पर बल्लेबाजी कर रहा था और मैं ऐसा करने में सक्षम था। मैं हमेशा ये साबित करना चाहता था कि मैं बल्लेबाजी कर सकता हूं, मेरे पिता का हमेशा मानना था कि मैं एक बहुत अच्छा ऑलराउंडर बन सकता हूं और ये पारी उन्हीं को समर्पित है। मैं बड़े हिट कर सकता हूं, मैंने बहुत रबर-बॉल क्रिकेट खेला है और मैं अंडर-14 दिनों से बड़े हिट लगाता था।"
आगे बोलते हुए तुषार ने कहा, "मेरे दिमाग में केवल एक चीज थी कि गेंद की योग्यता के अनुसार खेलना था। जिस गेंद पर मैंने छक्का मारा और जिस गेंद पर मैं आउट हुआ, वो मेरे पाले में नहीं गई लेकिन कोई शिकायत नहीं कि हम रिकॉर्ड पूरा नहीं कर सके। किसी और दिन मुझे मौका मिल सकता है और मैं ऐसा करने की कोशिश करूंगा।"
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तुषार आईपीएल 2024 में चेन्नई सुपरकिंग्स के लिए खेलते हुए दिखेंगे। ऐसे में ये देखना दिलचस्प होगा कि क्या एमएस धोनी भी देशपांडे की बल्लेबाजी का इस्तेमाल करते हैं या नहीं।