Usman khawaja
जब भारतीय क्रिकेट में पहला राजनीतिक प्रोटेस्ट हुआ तो ICC ने चुपचाप तमाशा देखा- कब और मुद्दा क्या था?
पिछली ऑस्ट्रेलिया-पाकिस्तान टेस्ट सीरीज जितनी ग्राउंड पर चर्चा में रही- उससे ज्यादा ग्राउंड के बाहर। इसके लिए सबसे ज्यादा उस्मान ख्वाजा जिम्मेदार रहे- एक मौजूदा मसले पर अपने प्रोटेस्ट की वजह से। उनका भले ही जूते पर मेसेज हो या आर्मबैंड प्रोटेस्ट- कोई भी आईसीसी को पसंद नहीं आया। आईसीसी ने चेतावनी दी- आईसीसी के नियम राजनीति, धर्म या नस्ल से संबंधित व्यक्तिगत संदेशों के प्रदर्शन की इजाजत नहीं देते। इस दलील का भी कोई फायदा नहीं हुआ कि ऐसी मिसाल हैं जहां आईसीसी गाइडलाइन को तोड़ा और ऐसे व्यक्तिगत संदेश दिखाने की मंजूरी दी जो राजनीति, धर्म या नस्ल जैसे मसले से जुड़े थे।
क्या किसी को याद है कि भारतीय क्रिकेट में कब पहली बार क्रिकेट को सीधे राजनीति से जोड़ा गया? मजे की बात ये है कि ये वह केस है जिसमें आईसीसी ने तो कोई एक्शन नहीं लिया पर उस घटना ने भारत के क्रिकेट इतिहास पर बहुत बड़ा असर डाला।