वर्ल्ड टी-20: भारत हारा, वेस्टइंडीज फाइनल में

Updated: Thu, Mar 31 2016 23:06 IST

मुम्बई, 31 मार्च | आईसीसी टी-20 विश्व कप 2016 का फाइनल वेस्टइंडीज और इंग्लैंड के बीच खेला जाएगा। वेस्टइंडीज ने गुरुवार को खेले गए दूसरे सेमीफाइनल में मेजबान भारत को सात विकेट से हराकर कोलकाता में रविवार को होने वाले खिताबी मुकाबले में खेलने की योग्यता हासिल की। भारत ने वानखेड़े स्टेडियम में टॉस हारने के बाद विराट कोहली (नाबाद 89) की बेहतरीन पारी की मदद से 3 विकेट पर 192 रन बनाए।

जवाब में खेलने उतरी कैरेबियाई टीम ने 19.4 ओवरों में तीन विकेट पर लक्ष्य हासिल कर लिया। यह पहला मौका है जब भारत टी-20 मैचों में 190 रनों से अधिक के लक्ष्य का बचाव नहीं कर सका।

वेस्टइंडीज की जीत के हीरो रहे लेंडल सिमंस (नाबाद 83 रन, 51 गेंद, सात चौके, पांच छक्के) और जानसन चार्ल्स (52 रन, 36 गेंद, सात चौके, 2 छक्के)। इन दोनों ने 19 रन के कुल योग पर क्रिस गेल (5) और मार्लन सैमुएल्स (8) के विकेट गिरने के बाद तीसरे विकेट के लिए 97 रन जोड़कर अपनी की जीत का आधार तय किया।

पावरहिटिंग का शानदार नमूना पेश कर रहे चार्ल्स 116 के कुल योग पर पवेलियन लौट गए लेकिन दो बार जीवनदान हासिल करने वाले सिमंस ने आंद्रे रसेल (नाबाद 43 रन, 20 गेंद, तीन चौके, 4 छक्के) के साथ मिलकर अपनी टीम को जीत तक पहुंचा दिया। सिमंस और रसेल ने 39 गेंदों पर 80 रन जोड़े। सिमंस को मैन ऑफ द मैच चुना गया। वेस्टइंडीज दूसरी बार फाइनल में पहुंचा है। उसने 2012 में यह खिताब जीता था। दूसरी ओर, इंग्लैंड भी दूसरी बार फाइनल में पहुंचा है। उसने भी 200 में यह खिताब जीता था।

वेस्टइंडीज की शुरुआत अच्छी नहीं रही। भारत ने अपनी रणनीति को अमली जामा पहनाते हुए अपने लिए सबसे बड़ा खतरा माने जा रहे गेल को दूसरे ओवर की पहली गेंद पर ही चलता कर दिया। गेल को जसप्रीत बुमराह ने एक बेहतरीन यार्कर पर बोल्ड किया। छह रन के कुल योग पर यह विकेट गिरने के साथ ही लगा कि भारत यह मैच अब आसानी से अपने नाम कर लेगा।

भारत के इस यकीन को उस समय और बल मिला जब आशीष नेहरा ने सैमुएल्स को 19 रन के कुल योग पर आउट करके भारत को दूसरी सफलता दिलाई। अब भारतीय प्रशंसकों को जीत बिल्कुल साफ दिखने लगी थी लेकिन चार्ल्स और सिमंस ने इसके बाद दूसरे विकेट के लिए 61 गेंदों पर 97 रन जोड़कर उनके इस यकीन को नेस्तनाबूत कर दिया। हर एक चौके और छक्के के साथ भारतीय प्रश्ंसकों को लगने लगा कि यह मैच भारत के हाथ से फिसलता जा रहा है।

सिमंस को 18 रन के कुल योग पर जीवनदान मिला। पारी के सातवें ओवर की अंतिम गेंद पर सिमंस, अश्विन की गेंद पर बुमराह द्वारा कैच कर लिए गए थे लेकिन वह गेंद नौ बॉल करार दी गई। सिमंस ने इस जीवनदान का भरपूर फायदा उठाया और एक बेहतरीन साझेदारी को अंजाम दिया। सिमंस को पारी के 15वें ओवर की अंतिम गेंद पर एक और जीवनदान मिला। हार्दिक पंड्या की गेंद पर वह अश्विन द्वारा लपक लिए गए लेकिन वह भी नो बॉल साबित हुई।

सिमंस ने हंसते हुए फिर से मैदान का रुख किया और कई झन्नाटेदार स्ट्रोक लगाए। वेस्टइंडीज ने 116 रन के कुल योग पर चार्ल्स का विकेट गंवाया। चार्ल्स को कोहली ने आउट किया। इसके तुरंत बाद ही सिमंस को जीवनदान मिला था। चार्ल्स का स्थान लेने आए आंद्रे रसेल ने भी अपने साथी का भरपूर साथ निभाया और उनके साथ चौथे विकेट के लिए 80 रनों की नाबाद साझेदार की। शुरुआत में रसेल थोड़े धीमे थे लेकिन बाद में वह एक के बाद एक प्रहार करते हुए अपनी टीम की अविश्वसनीय के नायक बने।

विराट के दम पर भारत ने बनाए 192 रन :

इससे पहले, अपने करियर के श्रेष्ठ फार्म में चल रहे विराट कोहली (नाबाद 89) के नेतृत्व में अपने बल्लेबाजों के शानदार प्रदर्शन के दम पर भारत ने टॉस हारने के बाद पहले बल्लेबाजी करते हुए निर्धारित 20 ओवरों में दो विकेट पर 192 रन बनाए।

कोहली ने अपनी 47 गेंदों की पारी में 11 चौके और एक छक्का लगाया। कोहली ने अजिंक्य रहाणे (40) और कप्तान महेंद्र सिंह धौनी (नाबाद 15) के साथ क्रमश: 66 और नाबाद 64 रनों की साझेदारी की। रहाणे के साथ उनकी साझेदारी 49 गेंदों पर हुए। इस साझेदारी में वह मुख्य कारक रहे और 41 रन बटोरे। धौनी के साथ 64 रनों की साझेदारी 27 गेदों पर हुई और इसमें कोहली के 48 रन शामिल हैं।

रहाणे और रोहित शर्मा (43) ने पहले विकेट के लिए 44 गेंदों पर 62 रन जोड़ते हुए भारत को बेहतरीन शुरुआत दिलाई। शिखर घवन के स्थान पर अंतिम एकादश में शामिल किए गए राहणे ने रोहित के विकेट पर रहते हुए स्ट्राइक रोटेट करने का काम किया। इस दौरान रोहित ने अपने घरेलू मैदान पर तूफानी अंदाज में खेलते हुए 31 गेदों पर तीन चौके और तीन बेहतरीन छक्के लगाए। रोहित का विकेट 62 के कुल योग पर गिरा।

इसके बाद रहाणे ने कोहली के साथ उसी रफ्तार से पारी को आगे बढ़ाना जारी रखा, जिस रफ्तार से वह तथा रोहित जारी रखे हुए थे। कोहली भाग्यशाली रहे कि पारी की शुरुआत में ही उन्हें दो जीवनदान मिले। दिनेश रामदीन और ड्वायन ब्रावो अलग-अलग मौकों पर उन्हें रन आउट नहीं कर सके।

इस पारी में कोहली को कुल चार जीवनदान मिले लेकिन इस पारी की महत्ता और वक्त के तकाजे को देखते हुए जीवनदान मायने नहीं रखते हैं। जीवनदानों के बीच कोहली ने मोहाली की तरह कुछ बेहतरीन शॉट लगाए। कोहली ने अपने 50 रन 33 गेदों पर पूरे कर लिए थे।

ऐसा लग रहा था कि भारत 180 तक भी नहीं पहुंच पाएगा लेकिन कोहली ने ब्राथवेट के एक ओवर में 19 रन लेकर भारत को 180 तक पहुंचा दिया। कोहली हालांकि टी-20 मैचों में अपने 90 रन के निजी व्यक्तिगत योग से एक रन पीछे रह गए लेकिन उनकी यह पारी मुम्बई वासियों को लम्बे समय तक याद रहेगी। बहरहाल, 2012 में यह खिताब जीतने वाली वेस्टइंडीज की ओर से सैमुएल बद्री और आंद्र रसेल ने एक- एक सफलता हासिल की।

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